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Bengaluru Stampede News: बेंगलुरू में भ्रम, अराजकता और फ्री पास... तैयारियों में चूके अधिकारी, नतीजा मातम में बदला RCB का जश्न

Bengaluru Stadium Stampede: इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की ऐतिहासिक जीत का जश्न मनाने के लिए कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरू के चिन्नास्वामी स्टेडियम में आयोजित समारोह में बड़ी संख्या में क्रिकेटप्रेमियों के इकट्ठा होने के बाद भगदड़ मचने से कम से कम 11 लोगों की मौत हो गई। इस हादसे में 33 अन्य लोग घायल हो गए हैं

अपडेटेड Jun 05, 2025 पर 11:41 AM
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Bengaluru Stadium Stampede: रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (आरसीबी) की जीत के जश्न में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए थे। इसी दौरान हादसा हो गया

Bengaluru Stadium Stampede: कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु में चिन्नास्वामी स्टेडियम के पास मची भगदड़ के बाद वहां जूते-चप्पलों के ढेर, खेलकूद के कपड़े और सामान के टुकड़े बिखरे हुए देखे गए। इस भगदड़ के कारण 11 लोगों की मौत हो गई है और 33 लोग घायल हो गए। रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) द्वारा पहली बार इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) का खिताब जीतने के उपलक्ष्य में जैसे ही जश्न का माहौल शुरू हुआ, लाखों की संख्या में युवा पुरुषों और महिलाओं की भीड़ स्टेडियम के बाहर जुट गए।

कई युवा विशाल पेड़ों की शाखाओं पर चढ़ने में सफल रहे। युवक खंभों से चिपके रहे। यहां तक ​​कि विशाल दीवारों पर चढ़कर स्टेडियम में प्रवेश करने में सफल रहे, ताकि वे अपने सितारों की एक झलक पा सकें। कुछ भी उन्हें रोक नहीं सका और भीड़ बढ़ती गई। व्यस्त इलाके में 'आरसीबी' के नारे लगने से बेंगलुरू की सड़कों पर उत्सव का माहौल बन गया।

भीड़ बेकाबू होती गई और धीरे-धीरे भगदड़ की स्थिति पैदा हो गई। जल्द ही चीख-पुकार सुनाई देने लगी। इससे पहले कि कोई समझ पाता कि क्या हो रहा है, लोग गिर पड़े और बेहोश हो गए, जिन्हें तुरंत पास के अस्पतालों में ले जाया गया।


कैसे हुआ हादसा?

बेंगलुरु के लिए खुशी का पल त्रासदी में तब बदल गया जब चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की टीम की विजय परेड के दौरान प्रशंसकों के बीच भ्रम की स्थिति पैदा हो गई। हालांकि विजय परेड शुरू होने से पहले ही भीड़ नियंत्रण की तैयारियां कर ली गई थीं, लेकिन आखिर ऐसी क्या गलती हुई जिससे यह त्रासदी हुई? सूत्रों के अनुसार, बेंगलुरु पुलिस इस मामले में पूरी तरह से उलझ गई है। पुलिस ने पाया है कि विजय जुलूस, मुफ्त पास के बारे में घोषणा और कार्यक्रम की तैयारियों के कारण आखिरकार भीड़ उमड़ पड़ी।

सूत्रों ने न्यूज 18 को बताया कि जश्न न मनाने की सलाह को फ्रैंचाइजी ने गंभीरता से नहीं लिया। एक अन्य सूत्र ने कहा, "यह भी सलाह दी गई थी कि कार्यक्रम कुछ दिन बाद आयोजित किया जा सकता था, लेकिन उसे भी नजरअंदाज कर दिया गया।" एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि कार्यक्रम को आगे बढ़ाने का निर्णय राजनीतिक था। पुलिस को आवश्यक व्यवस्थाएं करने के लिए बहुत कम समय दिया गया था।

हड़बड़ी में बेचे गए टिकट

न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, आनन फानन में आयोजित इस कार्यक्रम के टिकट भी हड़बड़ी में बेचे गए। मुख्य गेट नंबर 12 और 13 के अलावा क्लब हाउस एंट्री गेट नंबर 10 पर भी भारी भीड़ जमा हो गई जिन पर नियंत्रण के लिए पर्याप्त सुरक्षाबल नहीं था। दोपहर साढे तीन बजे तक प्रशंसकों की संख्या कई गुना बढ गई जिससे पुलिस और स्टेडियम के सुरक्षा अधिकारियों को सारे दरवाजे बंद करने पड़े। ताकि वे लोग भीतर नहीं आ सकें जिनके पास टिकट नहीं था।

अपने दोस्तों के साथ आए पोस्ट ग्रेजुएट छात्र प्रशांत शेट्टी ने कहा, "हम अपने सितारों को देखने आए थे। मैने समारोह के टिकट लिये थे लेकिन भीतर नहीं जा सका। पुलिस ने अचानक सारे रास्ते और दरवाजे बंद कर दिए और मुख्य द्वार के पास लाठीचार्ज शुरू कर दिया।" उन्होंने कहा, "मुझे नहीं पता कि हमारी क्या गलती थी। हमें समारोह का न्यौता मिला था, हमने टिकट खरीदे थे लेकिन मार और गालियां खाई। हमारे जैसे प्रशंसकों के लिए भयावह दिन है।"

करीब साढे चार बजे कुबोन पार्क मेट्रो स्टेशन से और भीड़ आ गई जिससे पुलिस को हल्का बलप्रयोग करना पड़ा। गेट नंबर 10 पर बच्चे और महिला भगदड़ का शिकार हुए। पुलिस ने रिपोर्टर पर भी लाठी चलाई और स्थानीय भाषा में अपशब्द कहे।

दूर से भी महिलाओं को बेहोश होकर गिरते देखना और प्रशंसकों को एक दूसरे को कुचलकर भागते देखना दुखद था। स्टेडियम के भीतर कार्यक्रम एक घंटे तक चला और टीम साढे छह बजे वापिस लौट गई। लेकिन प्रशंसक स्टेडियम के पास ही रहे जिससे ट्राफिक जाम हो गया और अफरा तफरी फैलती रही।

कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि स्टेडियम के पास भगदड़ के बाद 11 लोगों की मौत हो गई और 33 लोग घायल हो गए। मृतकों में ज्यादातर युवा थे, जिनमें पुरुष और महिलाएं शामिल थीं। इनमें से कई छात्र थे।

स्टेडियम के बाहर प्रशंसकों की भारी भीड़

यह त्रासदी तब हुई जब 35,000 लोगों की क्षमता वाले चिन्नास्वामी स्टेडियम में 2-3 लाख लोगों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। अफरा-तफरी और भगदड़ की असल वजह बताते हुए मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा, "मैच कल शाम (मंगलवार) हुआ था और आज यह कार्यक्रम क्रिकेट एसोसिएशन द्वारा आयोजित किया गया था, इसलिए किसी ने उम्मीद नहीं की थी कि इतने लोग आएंगे। उम्मीद थी कि स्टेडियम की क्षमता के बराबर या उससे थोड़े ज्यादा लोग इकट्ठा हो सकते हैं।"

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उन्होंने कहा, "छोटे-छोटे गेट हैं। लोग गेट से घुसे। उन्होंने गेट भी तोड़ दिए, इसलिए भगदड़ मच गई। किसी ने इतनी भीड़ आने की उम्मीद नहीं की थी। प्रथम दृष्टया, ऐसा ही लग रहा है। मैं यह नहीं कह रहा कि कुछ नहीं हुआ है। जांच से तथ्य सामने आएंगे।"

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