Heatwave: समुद्र का पानी उबला! झुलसा देने वाली गर्मी के साथ हुई अप्रैल की शुरुआत, आगे क्या होगा हाल, क्यों इतनी आग उगल रहा है सूरज?
दिल्ली, पंजाब, राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में लू के थपेड़े महसूस किए जा रहे हैं। उत्तर भारत में अभी से ही गर्मी का प्रकोप शुरू हो गया है और अभी अप्रैल की शुरुआत ही हुई है। 20 से ज्यादा शहरों में तापमान 42 डिग्री सेल्सियस से ज्यादा हो गया है, दिल्ली, उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्से और राजस्थान में भीषण गर्मी जैसी स्थिति है।
Heatwave: समुद्र का पानी उबला! झुलसा देने वाली गर्मी के साथ हुई अप्रैल की शुरुआत
अप्रैल 2025 में गर्मी की वजह से भारत में तापमान में बढ़ोतरी हो रही है। मौसम विभाग के अनुसार, अप्रैल से जून तक सामान्य से ज्यादा गर्मी पड़ने की संभावना है। कई शहरों में तापमान 40 डिग्री के करीब पहुंच गया है, और हीट वेव का अलर्ट जारी किया गया है। दिल्ली, पंजाब, राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में लू के थपेड़े महसूस किए जा रहे हैं। उत्तर भारत में अभी से ही गर्मी का प्रकोप शुरू हो गया है और अभी अप्रैल की शुरुआत ही हुई है।
20 से ज्यादा शहरों में तापमान 42 डिग्री सेल्सियस से ज्यादा हो गया है, दिल्ली, उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्से और राजस्थान में भीषण गर्मी जैसी स्थिति है। भारतीय मौसम विभाग (IMD) का कहना है कि आने वाले दिनों में गर्मी और बढ़ेगी
रविवार को दिल्ली में अधिकतम तापमान 38.2 डिग्री सेल्सियस रहा, जो इस मौसम के लिए सामान्य से 3.1 डिग्री ज्यादा है। न्यूनतम तापमान गिरकर 18.5 डिग्री सेल्सियस पर आ गया, जो सामान्य से थोड़ा कम है। IMD ने चेतावनी दी है कि सोमवार को और भी बुरा मौसम हो सकता है, जब तापमान 41 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच सकता है।
भारत में अभी से ही इतनी गर्मी क्यों पड़ रही है?
इस सवाल का एक लाइन जवाब होगा- 'समुद्र का तापमान बढ़ने के कारण इतनी गर्मी बढ़ रही है', लेकिन इस एक कारण से कई ऐसी घटनाएं जुड़ी हैं, जिससे आपको ये समझने में आसाना होगी कि आखिर समुद्री तापमान बढ़ने से हमारे या आपके इलाकों में गर्मी क्यों बढ़ती है, तो चलिए शुरू करते हैं..
समुद्र का तापमान क्यों बढ़ रहा है?
- ग्लोबल वार्मिंग: ग्लोबल वार्मिंग के कारण वायुमंडल में ग्रीनहाउस गैसेज की मात्रा बढ़ रही है, जिससे समुद्र का तापमान बढ़ रहा है।
- जलवायु परिवर्तन: जलवायु परिवर्तन के कारण समुद्र के तापमान में बदलाव आ रहा है।
- क्लाइमेट साइकिल: क्लाइमेट साइकिल जैसे कि एल नीनो और ला नीना के कारण समुद्र के तापमान में बदलाव आ रहा है।
- समुद्री धाराओं का बदलाव: समुद्री धाराओं के बदलाव के कारण समुद्र के तापमान में बदलाव आ रहा है।
- पोलर आइस का पिघलना: पोलर आइस के पिघलने से समुद्र का तापमान बढ़ रहा है।
समुद्री तापमान बढ़ने का असर
एटमॉस्फेरिक प्रेशर: समुद्र के तापमान में बढ़ोतरी से वायुमंडलीय दबाव में बदलाव होता है। जब समुद्र का तापमान बढ़ता है, तो वायुमंडलीय दबाव कम होता है, जिससे हवा का फ्लो बदलता है और गर्मी को बढ़ावा मिलता है।
एंटीसाइक्लोन एक्टिव होना: समुद्री पानी का गर्म या ठंडा होने से एंटीसाइक्लोन एक्टिव होता है। पानी ठंडा रहने के समय अगर ग्लोबल वार्मिंग या दूसरी वजहों से हवा गर्म हो जाती है, तो हवा की दिशा बदल जाती है। एंटसाइक्लोन की वजह से हवा में हाई प्रेशर होता है। ऐसे में गर्म हवा हल्की होकर ऊपर उठने के बजाये फंस जाती है और इससे गर्मी बढ़ती है।
एवापोरेशन: समुद्र के तापमान में बढ़ोतरी से एवापोरेशन की दर बढ़ जाती है। जब समुद्र का तापमान बढ़ता है, तो ज्यादा पानी भाप में बदल जाता है, जिससे वायुमंडल में ज्यादा वाटर वेपर पहुंचता है। यह वाटर वेपर गर्मी को सोखता है और वायुमंडल में गर्मी को बढ़ाता है।
अप्रैल 2024 में, वैश्विक समुद्री सतह का तापमान (SST) रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गया था, और इसने दूसरे फैक्टर के साथ मिलकर भारत में भीषण गर्मी में योगदान दिया, जिससे तापमान सामान्य स्तर से ऊपर चला गया था, लेकिन इस बार के हालात देख कर लग रहा है कि इस साल पिछले साल का भी रिकॉर्ड टूट सकता है।