सेबी ने कई कंपनियों की बड़ी मुश्किल हल कर दी है। सेबी ने सर्कुलर जारी करके लिस्टेड कंपनी में प्रमोटर की हिस्सेदारी से जुड़े नियमों में बदलाव किए हैं। जिसके बाद प्रोमोटरों के लिए कंपनी में हिस्सेदारी घटाना आसान हो जाएगा।

सेबी ने कई कंपनियों की बड़ी मुश्किल हल कर दी है। सेबी ने सर्कुलर जारी करके लिस्टेड कंपनी में प्रमोटर की हिस्सेदारी से जुड़े नियमों में बदलाव किए हैं। जिसके बाद प्रोमोटरों के लिए कंपनी में हिस्सेदारी घटाना आसान हो जाएगा।
सेबी ने कंपनी में मिनिमम पब्लिक शेयरहोल्डिंग की शर्त को पूरा करने के लिए प्रोमोटर को राइट्स इश्यू और बोनस इश्यू जारी करने की मंजूरी दे दी है।
हालांकि राइट्स इश्यू और बोनस इश्यू जारी करने की हालत में प्रोमोटर को नए शेयरों पर अपना हक छोड़ना पड़ सकता है। यानी नए शेयर सिर्फ पब्लिक शेयरहोल्डरों को ही मिलेंगे। सेबी ने ये भी कहा है कि जरूरत पड़ने पर वो इन नियमों में और ढील दे सकता है।
सेबी ने सभी कंपनियों के लिए जून 2013 तक मिनिमम पब्लिक शेयरहोल्डिंग की शर्त को पूरा करना जरूरी बना दिया है। इसके तहत निजी कंपनियों को कम से कम 25 फीसदी और सरकारी कंपनियों को कम से कम 10 फीसदी शेयर जनता को देना जरूरी है।
सेबी ने इसके पहले प्रमोटर की हिस्सेदारी कम करने के लिए इंस्टीट्यूशनल प्लेसमेंट प्रोग्राम और ऑफर फॉर सेल जैसे तरीके अपनाने की छूट दी है। इसके अलावा कंपनियों के पास फॉलो ऑन पब्लिक ऑफर लाने का विकल्प भी मौजूद है।
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