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अगले हफ्ते ये अहम घटनाक्रम तय कर सकते हैं शेयर बाजार की चाल, जानें एक्सपर्टस की राय

पिछले हफ्ते शेयर बाजार में 2.5 पर्सेंट की गिरावट रही, जो पिछले 8 हफ्ते की सबसे बड़ी गिरावट है। ऑटो, फार्मा, मेटल और रियल्टी सेक्टर में गिरावट तेज रही। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के हेड विनोद नायर ने बताया कि निवेशक अब जोखिम उठाने को तैयार नहीं हैं और कंपनियों के नतीजे अनुमान से कमजोर रहे हैं

अपडेटेड Feb 16, 2025 पर 11:21 PM
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पिछले हफ्ते शेयर बाजार में 2.5 पर्सेंट की गिरावट रही, जो पिछले 8 हफ्ते की सबसे बड़ी गिरावट है। ऑटो, फार्मा, मेटल और रियल्टी सेक्टर में गिरावट तेज रही। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के हेड विनोद नायर ने बताया कि निवेशक अब जोखिम उठाने को तैयार नहीं हैं और कंपनियों के नतीजे अनुमान से कमजोर रहे हैं।

अगले हफ्ते इन अहम घटनाक्रम पर निवेशकों की नजर रह सकती हैः

FOMC की बैठक

ग्लोबल स्तर पर निवेशकों की नजर अमेरिकी फेडरल ओपन कमेटी (FOMC) की बैठक होगी। जनवरी में हुई कमेटी की बैठक में ब्याज दरों में बदलाव नहीं किया गया था। बहरहाल, फेडरल रिजर्व बैंक चेयरमैन जेरोम पावेल कह चुके हैं कि अमेरिकी केंद्रीय बैंक ब्याज दर कम करने की हड़बडी़ में नहीं हैऔर उसकी नजर इनफ्लेशन पर होगी।


यूक्रेन-रूस बातचीत

आने वाले दिनों में सऊदी अरब में अमेरिका, यूक्रेन और रूस के बीच बातचीत हो सकती है। कोटक सिक्योरिटीज के कायनात चेनवाला ने बताया, 'इस बैठक का मकसद रूस-यूक्रेन युद्ध को खत्म करना है। यह कदम मार्केट सेंटीमेंट लिहाज से बेहद अहम होगा।'

ग्लोबल इकोनॉमिक डेटा

बाजार के खिलाड़ियों का फोकस फरवरी के मैन्युफैक्चरिंग और सर्विसेज PMI फ्लैश डेटा पर होगा। अमेरिका, ब्रिटेन, जापान और अन्य देशों के लिए यह डेटा अगले हफ्ते जारी किया जाएगा।

डोमेस्टिक इकोनॉमिक डेटा

भारतीय डेटा के लिहाज से फोकस बैलेंस ऑफ ट्रेड के आंकड़ों पर होगा, जो 17 जनवरी को आएगा। साथ ही, फॉरेन एक्सचेंज रिजर्व के आंकड़ों पर भी नजर होगी।

FIIs फ्लो

शेयर बाजार के खिलाड़ियों की नजर फॉरेन इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर्स (FIIs) पर होगी, जिनके द्वारा बिकवाली का सिलसिला लगातार जारी है। एक्सपर्ट्स के मुताबिक, जब तक अर्निंग रिकवरी में मजबूती नहीं आती है और ग्लोबल ट्रे़ड वॉर को लेकर अनिश्चितता दूर नहीं होती है, तब तक FIIs के शेयर बाजार में लौटने की संभावना नहीं है।

भारतीय रुपया

डॉलर के मुकाबले रुपये की चाल पर भी निवेशकों की नजर होगी। पिछले हफ्ते रिजर्व बैंक के हस्तक्षेप के बाद रुपये में मजबूती देखने को मिली थी। हालांकि, एक्सपर्ट्स का अनुमान है कि रुपये में अभी और कमजोरी देखने को मिल सकती है।

टेक्निकल व्यू

निफ्टी50 फिलहाल 10 और 20 हफ्ते के EMS के नीचे कारोबार कर रहा है और यह बेयर्स की गिरफ्त में है।

कंपनियों की गतिविधियां

अगले हफ्ते कई कंपनियां अंतरिम डिविडेंड, बोनस आदि का ऐलान कर सकती हैं, जिसका असर शेयर बाजार पर भी देखने को मिलेगा।

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