Currency Check : भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के कारण शुक्रवार को शुरुआती कारोबार में रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 30 पैसे कमजोर होकर 85.88 पर आ गया। विदेशी मुद्रा ट्रेडरों का कहना है कि भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव के कारण बाजार में जोखिम से बचने की भावना बनी है। इसके चलते रुपये में कमजोरी आई है। इसके अलावा,अमेरिकी डॉलर की बढ़ती मांग ने निवेशकों की भावना को और खऱाब किया है। इंटरबैंक फॉरेन एक्सचेंज में डॉलर के मुकाबले रुपए की ओपनिंग 85.88 के स्तर पर हुआ जो पिछले बंद भाव से 30 पैसे की कमजोरी दिखाता है।
भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के कारण गुरुवार को रुपये में ढाई साल से अधिक समय की सबसे बड़ी एक दिवसीय गिरावट देखने को मिली थी। कल अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 81 पैसे की गिरावट के साथ 85.58 पर बंद हुआ था।
भारतीय सेना ने शुक्रवार को कहा कि पाकिस्तान के सशस्त्र बलों ने 8-9 मई की रात को पूरे पश्चिमी सीमा पर ड्रोन और अन्य हथियारों का उपयोग करके कई हमले किए, जिन्हें "प्रभावी ढंग से खदेड़ दिया गया"। भारतीय सेना ने X पर सुबह-सुबह एक पोस्ट में कहा कि पाकिस्तानी सैनिकों ने जम्मू और कश्मीर में नियंत्रण रेखा पर "कई बार संघर्ष विराम का उल्लंघन" किया है।
फिनरेक्स ट्रेजरी एडवाइजर्स एलएलपी के ट्रेजरी हेड और एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर अनिल कुमार भंसाली ने कहा कि दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ने के कारण गुरुवार को रुपया 84.52 के हाई से गिरकर 85.78 पर आ गया। डॉलर इंडेक्स में बढ़त के कारण आज भी रुपया गिरावट के साथ खुला और अगर भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) डॉलर बेचने के लिए कदम नहीं उठाता है तो यह 86.50 के स्तर तक गिर सकता है।
इस बीच 6 बड़ी मुद्राओं के मुकाबले डॉलर की ताकत को मापने वाला डॉलर इंडेक्स 0.01 फीसदी बढ़कर 100.65 पर कारोबार कर रहा है। ग्लोबल ऑयल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड फ्यूचर्स 0.30 फीसदी बढ़कर 63.03 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया है।
सीआर फॉरेक्स एडवाइजर्स के एमडी अमित पबारी का कहना है कि किसी भी युद्ध जैसी स्थिति में निवेशक आमतौर पर सुरक्षित निवेश विकल्पों की ओर भागते हैं, जिससे बाजार से पूंजी की निकासी होती है और शॉर्ट टर्म में करेंसी कमजोर होती है। उन्होंने आगे कहा कि रुपए की यह कमजोरी शॉर्ट टर्म के लिए ही रहेगी। युद्ध का तनाव कम होने पर रुपए में मीडियम टर्म में फिर से तेजी आएगी।
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