ट्रेड टैरिफ चिंता के बीच डोमेस्टिक कंजम्पशन सेक्टर में उम्मीद, एक्सपोर्ट-ओरिएंटेड सेक्टर पर दिख सकता है दबाव

देवेंद्र सिंघल ने कहा कि पिछले साल लो लेवल से अच्छी रिकवरी दिखी थी। अभी मार्केट स्टेबल, पर हाई से नीचे है। सरकार और RBI ने कई कदम उठाए। इंटरेस्ट रेट कट, GST राहत से सपोर्ट मिलेगा। भारत का US के साथ बड़ा ट्रेड रिलेशन है

अपडेटेड Sep 13, 2025 पर 8:42 AM
Story continues below Advertisement
कंज्मशन थीम पर राय देते हुए उन्होंने कहा कि सेक्टर में फंड का अच्छा एक्सपोजर है। 2–3 साल से कंजम्पशन अंडरपरफॉर्मर रहा । अब सेक्टर में कई पॉजिटिव ट्रिगर्स है।

बाजार में बुल का जोश सुपर हाई है। कल का बाजार 3 हफ्ते के ऊपरी स्तर पर पहुंच गया। निफ्टी ने लगातार 8वें दिन बढ़त पर क्लोजिंग ली। निफ्टी 109 प्वाइंट चढ़कर 25 हजार 114 पर बंद हुआ तो वहीं सेंसेक्स ने 356 प्वाइंट की छलांग लगाई। ऐसे में बाजार के आगे के आउटलुक औरकोटक मल्टी एसेट एलोकेशन फंड पर बात करते हुए Kotak Mahindra AMC के फंड मैनेजर देवेंद्र सिंघल (Devender Singhal) ने कहा कि पिछले साल लो लेवल से अच्छी रिकवरी दिखी थी। अभी मार्केट स्टेबल, पर हाई से नीचे है। सरकार और RBI ने कई कदम उठाए। इंटरेस्ट रेट कट, GST राहत से सपोर्ट मिलेगा। भारत का US के साथ बड़ा ट्रेड रिलेशन है। ट्रेड टैरिफ/जियोपॉलिटिकल रिस्क से चिंता बरकरार है। डोमेस्टिक कंजम्पशन सेक्टर में उम्मीद है। एक्सपोर्ट-ओरिएंटेड सेक्टर पर प्रेशर संभव है।

FIIs फ्लो पर राय देते हुए उन्होंने कहा कि अन्य इमर्जिंग मार्केट्स ज्यादा आकर्षक दिखे। भारतीय बाजार में वैल्युएशन महंगे हो गए थे। ग्रोथ, अर्निंग्स बेहतर होंगी तो FIIs वापस आएंगे।

पिछले दो क्वार्टर में अर्निंग्स बड़े नेगेटिव सरप्राइज नहीं आए। FY26 के अर्निंग्स अनुमान में डाउनग्रेड किया। जबकि FY27 में बड़ी गिरावट नहीं, पर मोडरेट संभव है। RBI नीतियां, मॉनसून, इन्फ्लेशन ट्रिगर प्वाइंट है। आने वाले क्वार्टरों में अर्निंग रिकवरी की उम्मीद है। एक्सपोर्ट सेक्टर में चुनौती संभव है। कई सेक्टर्स में बेहतर नतीजों की संभावना है।


फंड की कैटेगरी और स्ट्रक्चर पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि फंड हाइब्रिड कैटेगरी का फंड है। इक्विटी में 65% एलोकेशन है जबकि 10% डेट में एलोकेशन है। वहीं 10% कमोडिटी में निवेश किया है। 15% को फ्लेक्सिबल रखा गया है। नेट इक्विटी 20-80% के बीच फ्लेक्सिबल है।

कमोडिटी पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि गोल्ड-सिल्वर में पहले 17% एलोकेशन था लेकिन अभी गोल्ड-सिल्वर में 21% एलोकेशन है। गोल्ड-सिल्वर को लेकर पॉजिटिव आउटलुक नजरिया है। US इंटरेस्ट रेट्स घटते ही प्रेशियस मेटल्स में तेजी देखने को मिली। करेंसी वोलैटिलिटी, जियोपॉलिटिकल रिस्क से डिमांड बढ़ी है। कई सॉवरेन कंट्री गोल्ड रिजर्व बढ़ा रहे हैं।

देवेंद्र सिंघल कंजम्पशन ,कंज्यूमर रिलेटेड सर्विसेज, बैंकिंग और फाइनेंशियल्स, पावर और एनर्जी और IT सेक्टर में ओवरवेट है जबकि - मेटल स्पेस में कम एक्सपोजर रखा है।

बैंकिंग एंड फाइनेंशियल्स पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि बैंकिंग और फाइनेंशियल्स में ज्यादा एलोकेशन है। इंडेक्स में भी सेक्टर का वेट सबसे ज्यादा है। FY27 से सेक्टर में ग्रोथ पिकअप की उम्मीद है। बैंकिंग सेक्टर के वैल्युएशन भी किफायती है।

कंज्मशन थीम पर राय देते हुए उन्होंने कहा कि सेक्टर में फंड का अच्छा एक्सपोजर है। 2–3 साल से कंजम्पशन अंडरपरफॉर्मर रहा । अब सेक्टर में कई पॉजिटिव ट्रिगर्स है। टैक्स, इंटरेस्ट रेट और अब GST रेट कट हुए। 1–2 साल में रिकवरी और ग्रोथ की संभावना है। सेक्टर के वैल्यूएशन अभी थोड़े महंगे है, लेकिन कंज्यूमर सर्विसेज, ऑटोमोबाइल सेक्टर पर फोकस बना हुआ है।

Market Views: बाजार में अब निगेटिव रहने की जरुरत नहीं, लंबी अवधि में ऑटो में बनेगा पैसा

(डिस्क्लेमर: मनीकंट्रोल.कॉम पर दिए गए विचार एक्सपर्ट के अपने निजी विचार होते हैं। वेबसाइट या मैनेजमेंट इसके लिए उत्तरदाई नहीं है। यूजर्स को मनी कंट्रोल की सलाह है कि कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले सार्टिफाइड एक्सपर्ट की सलाह लें।

हिंदी में शेयर बाजार स्टॉक मार्केट न्यूज़,  बिजनेस न्यूज़,  पर्सनल फाइनेंस और अन्य देश से जुड़ी खबरें सबसे पहले मनीकंट्रोल हिंदी पर पढ़ें. डेली मार्केट अपडेट के लिए Moneycontrol App  डाउनलोड करें।