Credit Score: पैसाबाजार की इनसाइट्स रिपोर्ट 'हाउ इंडिया चेक्ड क्रेडिट स्कोर' ने कई बड़े शहरों के यूजर्स के बारे में कई दिलचस्प जानकारियां दी हैं। इस रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली, पुणे, केरल और चंडीगढ़ भारत की सबसे क्रेडिट-हेल्दी जगहों के रूप में उभरे हैं।
दिल्ली टॉप पर, औसत स्कोर 746
रिपोर्ट के अनुसार, दिल्ली देश की सबसे क्रेडिट-हेल्दी सिटी रही, जहां औसत क्रेडिट स्कोर 746 दर्ज किया गया और 46% उपभोक्ता क्रेडिट-हेल्दी श्रेणी में शामिल रहे। दूसरे स्थान पर पुणे रहा, जहां 44% प्रतिभागियों का औसत क्रेडिट स्कोर 744 रहा। केरल और चंडीगढ़ 43% हिस्सेदारी के साथ क्रमशः तीसरे और चौथे स्थान पर रहे, जिनका औसत स्कोर 745 और 744 रहा।
47 लाख से अधिक लोगों पर स्टडी
यह अध्ययन पैसाबाजार की क्रेडिट प्रीमियर लीग (CPL) पहल पर आधारित है, जो पूरे भारत में क्रेडिट अवेयरनेस बढ़ाने के लिए शुरू की गई एक ऑनलाइन प्रतियोगिता थी। इसमें 710 शहरों से 47 लाख से अधिक प्रतिभागियों ने 30 दिनों तक हिस्सा लिया। इस दौरान देशभर से पांच प्रतिभागियों ने 900 में से 861 का सर्वाधिक क्रेडिट स्कोर हासिल किया। ये प्रतिभागी बेंगलुरु, जयपुर, लखनऊ, केरल और पुणे से थे। दूसरा सर्वोच्च स्कोर 859 चेन्नई के एक प्रतिभागी ने दर्ज किया।
क्रेडिट अवेयरनेस है CPL का मकसद
पैसाबाजार के CEO संतोष अग्रवाल ने कहा, “हमारा लक्ष्य भारत के हर कोने तक क्रेडिट अवेयरनेस पहुंचाना है। CPL के माध्यम से उपभोक्ताओं ने न केवल अपने क्रेडिट स्कोर को ट्रैक किया बल्कि उसे समझने और सुधारने की दिशा में भी कदम बढ़ाया है। आगे भी हम इस अनुभव को और आकर्षक बनाने के लिए कोशिश करते रहेंगे।”
मुंबई, हैदराबाद, लखनऊ सबसे एक्टिव
रिपोर्ट में यह भी सामने आया कि मुंबई, हैदराबाद और लखनऊ सबसे ज्यादा एक्टिव शहर रहे। इन तीनों ने मिलकर 15 लाख से अधिक प्रतिभागियों का योगदान दिया। प्रतिभागियों में आधे से ज्यादा 29–44 वर्ष की आयु वर्ग से थे। महिला भागीदारी 8% रही। इनमें से एक-तिहाई दक्षिण भारत के शहरों- चेन्नई, हैदराबाद और बेंगलुरु से थीं।
क्रेडिट स्कोर क्या होता है?
क्रेडिट स्कोर किसी शख्स की वित्तीय साख बताता है। यह तीन अंकों का नंबर होता है, जो यूजर्स की क्रेडिट हिस्ट्री बताता है। जैसे कि उसने समय पर लोन और क्रेडिट कार्ड का बिल चुकाया या नहीं, उसने कभी डिफॉल्ट किया है या नहीं। यह आमतौर पर 300 से 900 के बीच होता है, जहां 750 से ऊपर का स्कोर अच्छा माना जाता है। ज्यादा क्रेडिट स्कोर होने पर लोन और क्रेडिट कार्ड आसानी से मिलते हैं और ब्याज दरें भी कम लगती हैं।