सरकार के सूत्रों ने उन दावों का खारिज किया है, जिनमें कहा गया था कि भारत ने रूस से तेल खरीदना बंद कर दिया है। एक दिन पहले खबर आई थी कि भारत की सरकारी तेल कंपनियों ने रूस से तेल का आयात बंद कर दिया है। सरकारी सूत्रों के इस खबर को खारिज करने के बाद यह साफ हो गया है कि तेल आयात का भारत का फैसला मार्केट की स्थितियों और देश के हित पर आधारित है।
भारत अपने हितों के आधार पर करेगा फैसला
इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रूस से तेल का आयात बंद करने के इंडिया के फैसले का स्वागत किया था। उन्होंने इसे सही दिशा में उठाया गया कदम बताया था। सूत्र ने कहा, "इस बारे में 1 अगस्त को सरकार की स्थिति साफ कर दी गई। यह बताया गया कि भारत की एनर्जी की खरीद बाजार की ताकतों और देश के हित पर निर्भर करती है। ऐसी कोई खबर नहीं है कि सरकारी तेल कंपनियों ने रूस से आयात रोक दिया है।"
भारत समुद्र में उत्पादित रूस के तेल का सबसे बड़ी खरीदार
भारत समुद्र में उत्पादित रूस के ऑयल का सबसे बड़ा खरीदार है। रायटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, इंडिया की सरकारी तेल कंपनियों-IOC, HPCL, BPCL और MRPL ने ट्रंप की पेनाल्टी लगाने की धमकी और कीमतों के बीच घटते फर्क की वजह से पिछले हफ्ते रूस से क्रूड ऑयल नहीं खरीदे है। ट्रंप ने अपने बयान में कहा था, "मैं समझता हूं कि इंडिया रूस से अब तेल खरीदने नहीं जा रहा है। मैंने यह सुना है, मुझे नहीं पता कि यह सही है या गलत है। यह एक अच्छा कमद है। हम देखेंगे कि आगे क्या होता है।"
रूस ऑयल का दूसरा सबसे बड़ा निर्यातक देश
सरकारी सूत्रों ने यह भी कहा है कि रूस दुनिया में तेल का दूसरा सबसे बड़ा उत्पादक देश है। यह रोजाना करीब 95 लाख बैरल तेल का उत्पादन करता है। यह दुनिया में ऑयल का दूसरा सबसे बड़ा एक्सपोर्टर भी है। यह रोजाना करीब 45 लाख बैरल क्रूड ऑयल और 23 लाख बैरल रिफाइंड प्रोडक्ट्स का एक्सपोर्ट करता है। सूत्रों ने बताया कि इंडिया दुनिया में तेल का तीसरा सबसे बड़ा कंज्यूमर है। यह अपनी जरूरत का 85 फीसदी तेल इंपोर्ट करता है।
रूस से भारत का दशकों पुराना रिश्ता
सरकार ने मॉस्को से अपने दशकों पुराने रिश्तों का भी बचाव किया है। सरकार ने कहा है कि यह रिश्ता कई बार कसौटियों पर खरा उतरा है। हालांकि, सरकार ने अमेरिका के साथ भी अपने रिश्ते को व्यापक बताया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणदीप जायसवाल ने कहा कि इंडिया-रूस के बीच काफी पुराना रिश्ता है। उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान टेंशन के बावजद अमेरिका के साथ द्विपक्षीय रिश्तें जारी रहेंगे।