Indians Deported From US: अवैध रूप से अमेरिका में प्रवेश करने या वीजा नियमों का उल्लंघन करने वाले भारतीयों पर अमेरिकी प्रशासन की कार्रवाई तेज हो गई है। शुक्रवार को सरकार ने संसद को जानकारी दी कि 2025 में 21 नवंबर तक 3,155 से अधिक भारतीय नागरिकों को अमेरिका से डिपोर्ट किया गया है। विदेश राज्य मंत्री कीर्ति वर्धन सिंह ने एक लिखित जवाब में बताया कि देश निकाला (डिपोर्टेशन) के सभी मामले किसी भी व्यक्ति की भारतीय नागरिकता के 'वेरीफाई होने के बाद ही आगे बढ़ते हैं।
तीन साल में तीन गुना हुआ डिपोर्टेशन
संसद में पेश किए गए आंकड़ों के अनुसार, पिछले तीन वर्षों में अमेरिका से भारतीयों को डिपोर्ट किए जाने के मामलों में भारी वृद्धि हुई है। हालांकि विदेश मंत्रालय ने उन भारतीयों के बारे में स्पेशल डेटा से इनकार किया जो अमेरिका में जाने के लिए 'डंकी रूट' (अवैध तरीकों से विदेशी देशों में घुसने का तरीका) का उपयोग करते हैं। जानकारी के मुताबिक, साल 2025 में 3155 लोग, 2024 में 1,368 और 2023 में 617 भारतीयों को डिपोर्ट किया गया जो पिछले सालों में करीब तीन गुना हो गया है।
मंत्री ने बताया कि अमेरिकी अधिकारी आमतौर पर अवैध प्रवेश, वीजा अवधि से अधिक रुकने, वैध दस्तावेजों की कमी, या आपराधिक दोष सिद्ध होने के कारण व्यक्तियों को देश से बाहर भेजते हैं। इन ऑपरेशनों पर भारत सरकार अमेरिकी प्रशासन के साथ मिलकर काम करती है।
कुवैत की जेलों में बंद हैं 316 भारतीय
विदेश मंत्रालय ने अन्य देशों में भारतीयों और कूटनीतिक पहुंच से संबंधित कई अन्य महत्वपूर्ण आंकड़े भी साझा किए। एक अन्य प्रश्न के जवाब में विदेश राज्य मंत्री कीर्ति वर्धन ने बताया कि स्थानीय अधिकारियों द्वारा साझा किए गए आंकड़ों के अनुसार, 31 अक्टूबर 2025 तक 316 भारतीय नागरिक इस समय कुवैत की जेलों में बंद हैं। इसके साथ ही विदेश मंत्रालय ने हज कमेटी ऑफ इंडिया के माध्यम से यात्रा करने वाले भारतीय हज तीर्थयात्रियों की संख्या का वर्षवार डेटा भी प्रदान किया, जो इस प्रकार है:
2024: 1,39,964 तीर्थयात्री
2023: 1,39,429 तीर्थयात्री