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डिफेंस के लिए बजट पर्याप्त और भविष्य की सारी जरूरतें पूरी हो सकती हैं- सरकारी सूत्र

डिफेंस के लिए अतिरिक्त आवंटन किया जाना चाहिए या नहीं। ऐसे कयासों को विराम लगाते हुए सरकार सूत्रों ने स्पष्ट कर दिया है कि सरकार के पास डिफेंस का बजट पर्याप्त है। इससे भविष्य की सारी जरूरतें पूरी हो सकती हैं। सरकार की डिफेंस खर्चों को लेकर कोई अतिरिक्त डिमांड नहीं है। अगर भविष्य में कोई डिमांड आती है तो उसे पूरा करने में सरकार सक्षम है

अपडेटेड May 23, 2025 पर 3:46 PM
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डिफेंस सेक्टर से आज बाजार में कोचीन शिपयार्ड, मझगांव डॉक, बीईएल और गार्डन रीच शिपबिल्डर्स के शेयर में आधे से डेढ़ से परसेंट की तेजी नजर आई

सरकार ने साफ कर दिया है कि डिफेंस के लिए बजट पर्याप्त है और भविष्य की सारी जरूरतें पूरी हो सकती हैं। पहलगाम हमले के बाद भारत द्वारा ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम दिये जाने के बाद देश के डिफेंस सिस्टम को और मजबूत करने की कवायद चल रही है। देश के पास डिफेंस के लिए जरूरी बजट है या नहीं, इसके लिए अतिरिक्त आवंटन किया जाना चाहिए। ऐसे कयासों को विराम लगाते हुए सरकार ने स्पष्ट कर दिया है। सरकार के पास डिफेंस के लिए जरूरी बजट है। ये जानकारी सूत्रों के हवाले से मिली है। वहं सरकारी सूत्रों ने इंडसइंड बैंक, टेलीकॉम AGR, क्रिप्टोकरेंसी रेगुलेशन पर भी सफाई दी।

इस खबर अधिक जानकारी देते हुए हमारे सहयोगी चैनल सीएनबीसी आवाज़ के आलोक प्रियदर्शी ने कहा कि सरकारी सूत्रों के हवाले से ये पता चला है कि डिफेंस बजट पर्याप्त है। इसके भविष्य की सारी जरूरतें पूरी हो सकती हैं। सरकार की डिफेंस खर्चों को लेकर कोई अतिरिक्त डिमांड नहीं है। अगर भविष्य में कोई डिमांड आती है तो उसे पूरा करने में सरकार सक्षम है।

डिफेंस सेक्टर की कंपनियों की बात करें तो आज हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स का शेयर एक परसेंट से ज्यादा की गिरावट पर कारोबार करता नजर आया। जबकि बाकी कंपनियों में कोचीन शिपयार्ड, मझगांव डॉक, बीईएल और गार्डन रीच शिपबिल्डर्स के शेयर में आधे से डेढ़ से परसेंट की तेजी नजर आई।


अच्छे मॉनसून की उम्मीद से ग्रोथ पर होगा पॉजिटिव असर

इसके अतिरिक्त आलोक ने कहा कि ग्रोथ को लेकर जो अनुमान लगाये जा रहे हैं। उसमें तमाम रेटिंग एजेंसियों ने अच्छे प्रिडिक्शन किये हैं। इस समय अच्छे मानसून की उम्मीद की जा रही है। इससे ग्रोथ पर पॉजिटिव असर होगा। रेवन्यू पर भी अच्छा असर देखने को मिलेगा। फिस्कल डेफिसिट (वित्तीय घाटा) को लेकर सरकार को उम्मीद है कि वह बजट में दिये गये अपने लक्ष्य को पूरा करने लिए प्रतिबद्ध है।

इंडसइंड बैंक केस में सरकार का कोई रोल नहीं है

इंडसइंड बैंक के मामले पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि सरकार सूत्र बता रहे हैं कि इंडसइंड बैंक केस में सरकार का कोई रोल नहीं है। इस मामले पर रेगुलेटर निगरानी कर रहा है। सरकारी सूत्रों का कहना है कि रेगुलेटर इस मामले पर अच्छा काम कर रहा है।

क्रिप्टोकरेंसी को लेकर सरकारी सूत्र बता रहे हैं इसे कोई एक देश रेग्यूलेट नहीं कर सकता है। इसको रेगुलेट करने के लिए सभी देशों को एक मंच पर आना होगा। इसके लिए सरकार दूसरे देशों से बातचीत कर रही है।

 

 

 

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