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DeHaat ने Temasek सहित निवेशकों से जुटाए 486 करोड़, बिजनेस बढ़ाने पर होगा इस्तेमाल

पिछले दो साल में DeHaat ने तीसरी बार फंड जुटाया है। कंपनी के को-फाउंडर और सीईओ शशांक कुमार ने कहा कि देहात ने पिछले 40 महीनों में 60 गुना ग्रोथ हासिल की है, जो शानदार है। इससे मुनाफा कमाने के लिए ठोस रास्ता बना है

अपडेटेड Dec 01, 2022 पर 1:22 PM
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DeHaat पटना और गुरुग्राम की कंपनी है। इसकी शुरुआत IIT, IIM और NIT से पढ़ाई कर चुके अमरेंद्र सिंह, श्याम सुंदर सिंह, आदर्श श्रीवास्तव और शशांक कुमार ने 2012 में की थी।

DeHaat ने निवेशकों से 6 करोड़ डॉलर (करीब 486 करोड़ रुपये) जुटाए हैं। इनमें Temasek भी शामिल है। एग्रीटेक स्टार्टअप (DeHaat) ने अपने बिजनेस को बढ़ाने के लिए यह पैसा जुटाया है। यह कंपनी किसानों को कई तरह की कृषि सेवाएं देती है। उसने इस बारे में एक बयान जारी किया है। इसमें बताया है कि उसने नए फाइनेंशियल राउंड में 6 करोड़ डॉलर जुटाए है। Sofni Ventures और Temasek ने मिलकर इस E-Series फंडिंग का नेतृत्व किया है। DeHaat में इनवेस्ट करने वाले दूसरे निवेशकों में RTP Global Partners, Prosus Ventures और Lightrock इंडिया शामिल हैं। ये सभी बड़े निवेशक हैं, जो अच्छी संभावना वाले स्टार्टअप में निवेश करते हैं।

बीते दो साल में तीसरी बार जुटाया फंड

पिछले दो साल में DeHaat ने तीसरी बार फंड जुटाया है। कंपनी के को-फाउंडर और सीईओ शशांक कुमार ने कहा कि देहात ने पिछले 40 महीनों में 60 गुना ग्रोथ हासिल की है, जो शानदार है। इससे मुनाफा कमाने के लिए ठोस रास्ता बना है।


एक साल बाद कंपनी को मुनाफे में आने की उम्मीद

कुमार ने कहा कि जब पिछले राउंड में जुटाए गए फंड का 70 हिस्सा बचा है तब नए राउंड में 6 करोड़ डॉलर जुटाने में मिली कामयाबी से एजटेक (AgTech) में देहात की मार्केट लीडर पॉजिशन का पता चलता है। उन्होंने कहा कि अभी कंपनी के पास पर्याप्त पूंजी है। यह एफिशिएंसी और मुनाफा बढ़ाने में अपनी इस पॉजिशन का इस्तेमाल करना चाहती है। हमने अगले 12 महीने में लॉस से बाहर आ जाने का टारगेट रखा है। साल दर साल आधार पर हमारी ग्रोथ 2-2.5 गुना रहेगी।

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क्या करती है देहात?

DeHaat पटना और गुरुग्राम की कंपनी है। इसकी शुरुआत IIT, IIM और NIT से पढ़ाई कर चुके अमरेंद्र सिंह, श्याम सुंदर सिंह, आदर्श श्रीवास्तव और शशांक कुमार ने 2012 में की थी। यह किसानों को कृषि से जुड़ी कई तरह की सेवाएं देती है। इनमें हाई क्वालिटी एग्रीकल्चर का डिस्ट्रिब्यूशन, खेती-बाड़ी से जुड़ी सलाह, फाइनेंशियल सर्विसेज तक पहुंच और कृषि उत्पादों को बेचने के लिए बाजार उपलब्ध कराना शामिल हैं।

कितना बड़ा है स्टार्टअप का नेटवर्क?

देहात ने कहा है कि उसने 150 से ज्यादा जिलों के 1,10,000 गांवों में लास्ट-माइल सप्लाई चेन बनाई है। इसके लिए उसने 10,000 से ज्यादा अपने माइक्रो आंत्रप्रेन्योर के डिजिटाइज्ड नेटवर्क का इस्तेमाल किया है, जिसे DeHaat Centres कहा जाता है। ये अंतिम हिस्से तक डिलीवरी को मुमकिन बनाते हैं। देहात 11 राज्यों के 15 लाख किसानों की मदद कर रही है। इनमें बिहार, उत्तर प्रदेश, झारखंड, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, ओडिशा, गुजरात, छत्तीसगढ़ और हरियाणा शामिल हैं।

इस स्टार्टअपने अपने साथ 2000 से ज्यादा एग्रीबिजनेस इंस्टीट्यूशंस को जोड़ा है। इनमें इनपुट मैन्यूफैक्चरर्स, एफएमसीजी कंपनियां, बैंक, इंश्योरेंस पार्टनर्स और आउटपुट एक्सपोर्टर्स शामिल हैं। देहात उन्हें सीधे किसानों तक पहुंचने में मदद करती है।

MoneyControl News

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First Published: Dec 01, 2022 1:06 PM

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