अमेरिकी सांसदों ने रूस पर नए प्रतिबंध का प्रस्ताव रखा है। 50 रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक सीनेटरों ने यह प्रस्ताव रखा है, जिसमें कहा गया है कि युद्धविराम वार्ता नहीं होने पर प्रतिबंध लागू होंगे। रूस से क्रूड, यूरेनियम खरीदने वाले देशों पर 500% टैरिफ लगेगा। अमेरिकी नागरिकों को रूसी सरकारी बॉन्ड खरीदने पर रोक है।
अमेरिकी फाइनेंशियल संस्थानों का रूस से जुड़े संगठनों में निवेश नहीं किया जाएगा। भारत चीन और यूरोप रूस के प्रमुख तेल और गैस खरीदार हैं। ब्रेंट क्रूड ऑयल 75 डॉलर प्रति बैरल के करीब बना हुआ है।
बता दें कि ट्रंप की ओर से अमेरिकी सत्ता संभालने के बाद से ग्लोबल मार्केट में कच्चे तेल की कीमत में ज्यादा हलचल नहीं देखी गई है।जबकि पिछले एक साल के दौरान कच्चे तेल की कीमतों में काफी उथल-पुथल देखने को मिली थी।
एनर्जी एक्सपर्ट नरेंद्र तनेजा का कहना है कि टैरिफ को लेकर ट्रंप के कई बयान सामने आ रहे है। ट्रंप हर हाल में रूस-यूक्रेन का युद्ध खत्म करा चाहते हैं। उन्होंने आगे कहा कि रूस पर टैरिफ लगेगा तो क्रूड महंगा होगा। क्रूड ग्लोबल कमोडिटी है, देशों का उस पर अपने हिसाब से टैरिफ लगाना बाजार के लिए सही नहीं है। दुनिया के 80% देश कच्चे तेल का इंपोर्ट करते हैं।
उन्होंने आगे कहा कि भारत अमेरिका को पेट्रोलियम प्रोडक्ट एक्सपोर्ट करता है। टैरिफ को लेकर बाजार में अनिश्चितता के कारण क्रूड की कीमतों में असर दिख रहा है। तेल के दाम बढ़ने से खुद अमेरिका को नुकसान होगा। खुद अमेरिका भी क्रूड का एक बड़ा उत्पादक देश है।
नरेंद्र तनेजा ने आगे कहा कि अगर हर देश टैरिफ लगाएगा तो क्रूड का बाजार कहां जाएगा यह कहना मुश्किल है। कल होने वाली ओपेक प्लस की मीटिंग के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि दुनिया के 60 फीसदी क्रूड का उत्पादन नॉन ओपेक देश करते हैं। 3 अप्रैल को ओपेक प्लस की बैठक में कुछ ज्यादा होने की उम्मीद नहीं है। नरेंद्र तनेजा ने आगे कहा कि रूस का तेल अगर बाजार में आना कम हो जाए तो कीमतों में उछाल निश्चय है।
उन्होंने इस बातचीत में आगे कहा कि ट्रंप अमेरिका में मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देना चाहते है। कच्चे तेल का बढ़ाना कभी भी मैन्युफैक्चरिंग के लिए अच्छा नहीं है। ऐसे में कच्चे तेल की कीमतें महंगी हो ये ट्रंप सरकार नहीं चाहती लेकिन जो कदम उठाए जा रहे है , उससे तेल की कीमतों में उछाल आएगा। ऐसे में ट्रंप सरकार को अब कोई बीच का रास्ता तलाशना होगा।
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