Sectoral MFs in 2022: छुपेरुस्तम सब पर भारी पड़े हैं और अभी तक फेवरेट रहे सेक्टर्स ने निराश किया है। वर्ष 2022 में म्यूचुअल फंड्स के प्रदर्शन पर यही एक लाइन बिल्कुल सही बैठती है। 26 दिसंबर को मनीकंट्रोल ने 2022 में सेक्टर्स और फंड्स के प्रदर्शन का गहराई से विश्लेषण किया। दो सेक्टरों बैंकिंग और इन्फोर्मेशन टेक्नोलॉजी (आईटी) का प्रदर्शन उम्मीद से परे रहा। हालांकि, उम्मीद के विपरीत 2022 में टेक्नोलॉजी फंड्स का प्रदर्शन निराशाजनक रहा। वहीं बैंकिंग सेक्टर के फंड्स ने कोविड की शुरुआती दो वेव के निराशाजनक प्रदर्शन के बाद सबसे अच्छा प्रदर्शन किया।
40 लाख करोड़ रुपये की भारतीय म्यूचुअल फंड्स इंडस्ट्री (Indian mutual funds industry) में चार सेक्टोरल फंड्स हैं। वे बैंकिंग, आईटी, इंफ्रास्ट्रक्चर और फार्मा हैं। जहां इंफ्रा और फार्मा फंड्स ने बीएसई सेंसेक्स (2022 में अभी तक 3.5 फीसदी) की तर्ज पर प्रदर्शन रहा, वहीं बैंकिंग फंड्स इस साल 17 फीसदी बढ़े हैं। हालांकि, आईटी फंड्स में साल की शुरुआत से अभी तक 24 फीसदी की गिरावट आई है।
आईटी फंड्स (IT funds) की बात करें तो वैल्यूरिसर्च पर उपलब्ध डेटा के मुताबिक, Nippon India ETF Nifty IT का प्रदर्शन सबसे बद्तर रहा जिसने इस साल अभी तक 26.48 फीसदी निगेटिव रिटर्न दिया है। वहीं एसबीआई टेक्नोलॉजीज अपॉर्च्युनिटीज फंड (SBI Technology Opportunities Fund) को 15.37 फीसदी के निगेटिव रिटर्न के साथ 23 दिसंबर तक सबसे कम झटका दिया है।
वहीं, Nippon India ETF Nifty PSU Bank BeES ने इस साल अभी तक 53.01 फीसदी रिटर्न दिया है, जो भारत में सबसे अच्छा बैंकिंग फंड है।
लोन ग्रोथ, नेट इंटरेस्ट मार्जिन (NIM) में सुधार और स्ट्रेस लेवल में कमी के साथ भारत के बैंकिंग सेक्टर ने 2022 में अच्छा प्रदर्शन किया। यह बैंकिंग फंड्स का 2017 के बाद सबसे अच्छा प्रदर्शन रहा। ग्लोबल ब्रोकरेज हैतोंग इंटरनेशनल (Haitong International) ने कहा, यह सेक्टर टिकाऊ, मजबूत ग्रोथ और तुलनात्मक रूप से बेहतर एसेट क्वालिटी के साथ अच्छी स्थिति में रहा है।
इन दो बैंकिंग फंड्स का सबसे अच्छा प्रदर्शन
बैंकिंग सेक्टर के भीतर, पब्लिक सेक्टर के बैंकों ने इस साल रिटर्न के लिहाज से अच्छा प्रदर्शन किया। वास्तव में, निप्पॉन इंडिया एमएफ और कोटक महिंद्रा एमएफ के पीएसयू बैंक एक्सचेंज ट्रेडेड फंड्स (ईटीएफ) सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले दो बैंकिंग फंड्स हैं।
कोटक एएमसी के ईवीपी और सीनियर फंड मैनेजर-इक्विटी हरीश कृष्णन का मानना है कि पिछले 12 महीनों में पीएसयू बैंकों (PSU banks) को क्रेडिट ग्रोथ के साथ एनपीए में कमी से एसेट क्वालिटी में सुधार से फायदा मिला है।