Credit Cards

RBI MPC Meet : अमेरिकी टैरिफ और खराब ग्लोबल स्थितियों के बावजूद GDP ग्रोथ अनुमान बढ़ाकर 6.8% किया गया

RBI MPC Meet Update : आरबीआई ने इस वित्त वर्ष के लिए अपने महंगाई के पूर्वानुमान को घटाकर 2.6 प्रतिशत कर दिया। इसके साथ अमेरिकी टैरिफ और खराब ग्लोबल परिस्थितियों के कारण निर्यात पर पड़ने वाले प्रभाव की चेतावनी के बावजूद जीडीपी ग्रोथ अनुमान को बढ़ाकर 6.8 प्रतिशत कर दिया है

अपडेटेड Oct 01, 2025 पर 10:59 AM
Story continues below Advertisement
RBI MPC Meet : आरबीआई गवर्नर ने MPC के फैसलों का एलान करते हुए कहा कि ग्लोबल इकोनॉमिक की स्थिति में तेजी से बदलाव हो रहे हैं। अच्छे मॉनसून से भारत की इकोनॉमी मजबूत है

RBI Monetary Policy : भारतीय रिज़र्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति (MPC) ने बुधवार, 1 अक्टूबर को रेपो दर को 5.50 प्रतिशत पर बरकरार रखते हुए पॉलिसी पर तटस्थ रुख बनाए रखने का फैसला लिया। इस साल की शुरुआत में कुल 100 बेसिस प्वाइंट की तीन कटौतियों के बाद यह लगातार दूसरा विराम है। दर निर्धारण के साथ ही, आरबीआई ने इस वित्त वर्ष के लिए अपने महंगाई के पूर्वानुमान को घटाकर 2.6 प्रतिशत कर दिया। इसके साथ अमेरिकी टैरिफ और खराब ग्लोबल परिस्थितियों के कारण निर्यात पर पड़ने वाले प्रभाव की चेतावनी के बावजूद जीडीपी ग्रोथ अनुमान को बढ़ाकर 6.8 प्रतिशत कर दिया है।

GDP ग्रोथ अनुमान 6.5% से  बढ़ाकर 6.8% किया गया

आरबीआई गवर्नर ने कहा कि खरीफ फसलों की अच्छी बुआई से ग्रोथ की उम्मीद बढ़ी है। घरेलू मांग में भी बढ़ोतरी दिख रही है। अच्छे मॉनसून से भारत की इकोनॉमी मजबूत हुई है। टैरिफ और ट्रेड अनिश्चितता से डिमांड पर असर पड़ सकता है। FY26 के लिए GDP अनुमान बढ़ाया गया है। FY26 रियल GDP अनुमान 6.5% से बढ़ाकर 6.8% किया गया है। Q2 GDP ग्रोथ अनुमान 6.7% से बढ़ाकर 7% किया गया है। वहीं, Q3 GDP ग्रोथ अनुमान 6.6% से घटाकर 6.4% किया गया है। जबकि, Q4 GDP ग्रोथ अनुमान 6.3% से घटाकर 6.2% किया गया है। FY27 Q1 GDP ग्रोथ अनुमान 6.6% से घटकर 6.4% किया गया है।


RBI Monetary Policy : वित्त वर्ष 2026 का रिटेल महंगाई अनुमान 3.1% से घटाकर 2.6% किया गया, GST कटौती से मंहगाई घटने की उम्मीद

आरबीआई गवर्नर मल्होत्रा ​​ने कहा कि जीएसटी में किए गए सुधार महंगाई के दबाव को कम करने में मदद कर रहे हैं। लेकिन उन्होंने चेतावनी दी कि भारतीय निर्यात पर 50 प्रतिशत तक के हाई अमेरिकी टैरिफ से बाहरी मांग में कमी आने की संभावना है। उन्होंने कहा कि सरकारी नीतिगत उपायों के सपोर्ट से घरेलू इकोनॉमी अब तक मजबूत बनी हुई है, लेकिन खराब परिस्थितियों और टैरिफ संबंधी परेशानियों के कारण सावधानी बरतने की जरूर है।

हिंदी में शेयर बाजार स्टॉक मार्केट न्यूज़,  बिजनेस न्यूज़,  पर्सनल फाइनेंस और अन्य देश से जुड़ी खबरें सबसे पहले मनीकंट्रोल हिंदी पर पढ़ें. डेली मार्केट अपडेट के लिए Moneycontrol App  डाउनलोड करें।