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Short Call: निवेश का मौका चूकने के डर से इनवेस्टर्स कर रहे खरीदारी, जानिए HUL, KNR Constructions और कोफोर्ज में क्या चल रहा है

अमेरिकी बाजारों में 24 जुलाई को आई बड़ी गिरावट इस बात का संकेत है कि हाई वैल्यूएशन को लेकर चिंता बढ़ी है। इंडिया में भी हाई वैल्यूएशन को देखते हुए लंबे समय तक शेयरों में तेजी जारी रहने की उम्मीद नहीं है। अभी निवेशक सिर्फ निवेश का मौका चूक जाने के डर से खरीदारी कर रहे हैं

अपडेटेड Jul 25, 2024 पर 10:03 AM
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24 जुलाई को अमेरिकी मार्केट में बड़ी गिरावट आई। Nasdaq 3.6 फीसदी लुढ़क गया। यह पिछले 21 महीनों में सबसे तेज गिरावट है।
     
     
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    लगातार 7 हफ्तों तक बाजार के चढ़ने के बाद अब बुल्स थके नजर आ रहे हैं। न सिर्फ बजट से मार्केट को निराशा हुई है बल्कि उसे यह भी लगा है कि मार्केट का सेंटिमेंट पॉलिसी बनाने वालों की प्राथमिकता में शामिल नहीं है। लगातार चार सत्र की गिरावट के बाद भी बाजार के प्रमुख सूचकांकों में मुश्किल से 1.5 फीसदी गिरावट आई है। निर्मल बंग इंस्टीट्यूशनल इक्विटीज के सीईओ राहुल अरोड़ा का कहना है कि पहली नजर में देखने पर टैक्स बढ़ाने का फैसला निगेटिव लगता है। लेकिन, बजट के दिन गिरने के बाद मार्केट में जिस तरह से रिकवरी आई उससे ऐसा लगता है कि निवेशक खरीदारी करने के लिए तैयार हैं।

    बाजार के जानकारों का कहना है कि इसके बावजूद मार्केट के फंडामेंटल्स में भरोसे के बजाय निवेशक इसलिए निवेश कर रहे हैं उन्हें निवेश का मौका चूक जाने (FOMO) का डर है। 24 जुलाई को अमेरिकी मार्केट में बड़ी गिरावट आई। Nasdaq 3.6 फीसदी लुढ़क गया। यह पिछले 21 महीनों में सबसे तेज गिरावट है। S&P 500 भी 2.3 फीसदा गिरा। यह पिछले 18 महीनों में एक दिन में आई सबसे तेज गिरावट है। दुनिया में इनवेस्टर्स की चिंता ज्यादा वैल्यूएशन है। इंडिया में भी जल्द इनवेस्टर्स अब समझ जाएंगे कि शेयरों की कीमतें लंबे समय तक वैल्यूएशन से डिसकनेक्टेड नहीं रह सकतीं।

    Coforge

    कोफोर्ज के शेयर का प्राइस (क्लोजिंग) 6,318 रुपये है। Coforge के पहली तिमाही के नतीजे अनुमान के मुताबिक रहे। बुल्स का कहना है कि BFSI में रिकवरी के संकेत हैं। साथ ही एंप्लॉयीज की संख्या बढ़ने से आगे ग्रोथ की संभावना नजर आती है। Cigniti के साथ विलय से FY27 तक ऑपरेटिंग मार्जिन में इजाफा दिख सकता है। बेयर्स की दलील है कि वीजा और एंप्लॉयीज पर खर्च बढ़ने से EBIT मार्जिन में कमी आई है। नए प्रोजेक्ट की रफ्तार सुस्त रही है। Cigniti की टेस्टिंग सर्विसेज में उम्मीद से ज्यादा डिफ्लेशन दिख सकती है। साथ ही कंपनी विलय का लाभ उठाने से चूक सकती है। ये Coforge के लिए बड़े रिस्क हैं।


    KNR Constructions

    कंपनी के शेयर का प्राइस 377.50 रुपये है। 24 जुलाई को यह 5 फीसदी से ज्यादा चढ़ा है। बजट में इंफ्रास्ट्रक्चर पर सरकार का फोकस बने रहने का असर KNR Constructions के शेयरों पर दिखा। बुल्स की दलील है कि 2.52 लाख करोड़ रुपये यानी पूंजीगत खर्च का करीब 50 फीसदी मिनिस्ट्री ऑफ रोड ट्रांसपोर्ट एंड हाईवेज के लिए दिया गया है। इसका फायदा केएनआर कंस्ट्रक्शंस को मिलेगा। कंपनी नए सेगमेंट में दाखिल हो रही है, जिसका फायदा आगे मिलेगा। बेयर्स का कहना है कि नए प्रोजेक्ट मिलने की रफ्तार सुस्त रही है। सिंचाई प्रोजेक्ट्स पूरे होने में देर हुई है। नए ऑर्डर्स में मार्जिन भी कम है। इसके अलावा इनपुट कॉस्ट बढ़ने का असर भी कंपनी के मार्जिन पर पड़ेगा।

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    HUL

    यह स्टॉक 24 जुलाई को 2,720 रुपये पर बंद हुए। इसमें 1.64 फीसदी की तेजी दिखी। कंपनी के पहली तिमाही के नतीजे अच्छे रहे हैं। बुल्स का कहना है कि आगे वॉल्यूम ग्रोथ की ग्रोथ लोअर सिंगल डिजिट में रह सकती है। इसकी वजह यह है कि आगे कंपनी को कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ेगा। बेयर्स की दलील है कि कंपनी प्रीमियम पोर्टफोलियो पर काफी ज्यादा फोकस कर रही है। इससे ग्रामीण इलाकों के कंपनी के कंज्यूमर्स अलग पड़ सकते हैं। गाइडेंस के मुताबिक, HUL का मार्जिन स्थिर बने रहने की उम्मीद है।

    MoneyControl News

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    First Published: Jul 25, 2024 9:47 AM

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