EPFO Update: एंप्लॉयीज प्रोविडेंट फंड ऑर्गनाइजेशन (EPFO) अपने मेंबर्स को प्रोविडेंट फंड (PF) से सीधे ATM और UPI के जरिए निकासी की सुविधा देने की तैयारी कर रहा है। यह बदलाव पीएफ क्लेम प्रक्रिया को सरल बनाएगा। साथ ही, इसे रिटायरमेंट सेविंग्स तक रीयल-टाइम एक्सेस उपलब्ध कराने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
EPFO का क्या है प्रस्ताव?
PTI की रिपोर्ट के अनुसार, श्रम मंत्रालय एक ऐसी प्रणाली पर काम कर रहा है, जिसके तहत EPFO सदस्य अपने लिंक्ड बैंक खातों के माध्यम से ATM डेबिट कार्ड या UPI से अपने पीएफ बैलेंस का कुछ हिस्सा निकाल सकेंगे। इस सुविधा के लागू होने के बाद ऑनलाइन या ऑफलाइन क्लेम फॉर्म भरने की जरूरत नहीं रह जाएगी।
यह सिस्टम नियमित बैंक खातों से निकासी जैसी रीयल-टाइम सुविधा देगी। हालांकि, रिपोर्ट के अनुसार, पूरा बैलेंस निकालने की अनुमति नहीं होगी। एक तय हिस्सा रिटायरमेंट के लिए सुरक्षित रखा जाएगा।
कैसे काम करेगा नया सिस्टम?
फिलहाल EPFO कोई लाइसेंस प्राप्त बैंक नहीं है, इसलिए वह सीधे ATM जैसे चैनल के माध्यम से फंड एक्सेस की अनुमति नहीं दे सकता। मौजूदा व्यवस्था में आंशिक निकासी के लिए भी ऑनलाइन या ऑफलाइन क्लेम फाइल करना अनिवार्य है।
हालांकि, प्रस्तावित सिस्टम बैंक खातों के माध्यम से इंटरफेस करेगा। इससे EPFO मेंबर बिना क्लेम प्रोसेस के सीधे फंड एक्सेस कर सकेंगे। इसके लिए सॉफ्टवेयर इंटीग्रेशन और बैकएंड अपग्रेड पर काम जारी है।
ATM से कब निकाल सकेंगे PF
केंद्रीय श्रम मंत्री मनसुख मंडाविया के मुताबिक, इस सुविधा के लिए कर्मचारियों के पीएफ खातों को उनके बैंक खातों से लिंक किया जा रहा है। हालांकि, EPFO और केंद्र सरकार ने अभी तक नई सुविधा के लॉन्च के लिए कोई आधिकारिक तारीख तय नहीं की है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यह नई सुविधा जुलाई से लागू की जा सकती है।
PF निकासी की मौजूदा प्रक्रिया
अभी EPFO सदस्य को PF का पैसा निकालने के लिए एक क्लेम आवेदन करना होता है। कोविड-19 महामारी के दौरान शुरू हुई ऑटो-सेटलमेंट प्रणाली में भी क्लेम आवेदन जरूरी होता है। यह प्रक्रिया मैनुअल वेरिफिकेशन की तुलना में तेज है, लेकिन इसमें भी तीन दिन तक का समय लग सकता है।
हाल ही में, सरकार ने 24 जून को ऑटो-सेटलमेंट लिमिट ₹1 लाख से बढ़ाकर ₹5 लाख कर दी है। इससे अब बड़ी रकम तक की निकासी बिना मैनुअल दखल के मुमकिन हो सकेगी।
EPFO के अन्य प्रमुख बदलाव
EPFO ने क्लेम प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए हाल में कई अहम संशोधन किए हैं। इनका मकसद EPFO सदस्यों के अनुभव को बेहतर करना है। साथ ही, प्रोविडेंट फंड को जरूरत के समय पर ज्यादा तेज, आसान और सुरक्षित तरीके से उपलब्ध कराना है।