2023 के दौरान भारत में अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों का पहुंचना कोविड के पहले जैसा ही रहा। इकोनॉमिक सर्वे 2025 में यह बात कही गई है। इस दौरान वर्ल्ड ITAs में भारत के ITAs (इंटरनेशनल टूरिस्ट अराइवल की हिस्सेदारी 1.45 पर्सेंट रही। वित्त वर्ष 2023 के दौरान जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) में टूरिज्म सेक्टर का योगदान कोविड से पहले के 5 पर्सेंट के स्तर पर पहुंच गया। वित्त वर्ष 2023 में टूरिज्म सेक्टर ने 7.6 करोड़ रोजगार पैदा किए।
इस दौरान टूरिज्म यानी पर्यटन के जरिये विदेशी मुद्रा की कमाई 28 अरब डॉलर रही। दुनिया भर में पर्यटन से होने वाले कमाई में भारत की हिस्सेदारी 1.8 पर्सेंट रही और वर्ल्ड टूरिज्म की कमाई में भारत 14वें रैंक पर रहा।
स्वदेश दर्शन के तहत 34 प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दी गई है और इसकी कुल फंडिंग 793.2 करोड़ रुपये है। सरकार ने स्वदेश दर्शन स्कीम के तहत घरेलू पर्यटन को बढ़ावा देने की पहल की है। सरकार का इरादा पर्यटन ठिकानों का समग्र विकास करना है। इन ठिकानों में थीम आधारित टूरिस्ट सर्किट भी शामिल हैं। वित्त वर्ष 2025 के बजट ऐलानों को ध्यान में रखते हुए कुल 23 राज्यों की 40 परियोजनाओं के लिए 3,295.8 करोड़ रुपये का लोन मंजूर किया है। यह लोन 50 साल के लिए इंटरेस्ट फ्री होगा।
इस पहल का मकसद ग्लोबल स्टैंडर्ड वाले टूरिस्ट सेंटर बनाना है। इन सेंटरो के डिवेलपमेंट और मार्केटिंग को सहारा देकर ऐसा किया जाएगा। घरेलू पर्यटन को बढ़ावा देने वाली अन्य स्कीम में ‘प्रसाद’ योजना शामिल है, जिसका मकसद तीर्थ केंद्रों और प्राचीन शहरों को पहचान कर वहां टूरिज्म इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित करना है।
पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए भारत गौरव ट्रेनें चलाई गई हैं। ये थीम आधारित टूरिस्ट सर्किट ट्रेन हैं, जो भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और मशहूर ऐतिहासिक स्थलों को दिखाती हैं। इस स्कीम के तहत सर्विस प्रोवाइडर टूर पैकेज उपलब्ध कराते हैं, जिसमें खाना, रहना, ट्रांसपोर्ट, मुख्य स्थलों के दर्शन, टूर गाइड आदि की सुविधा होती है। अब तक भारत गौरव ट्रेनों की कुल 325 ट्रिप हो चुकी हैं, जिनमें 1,91,033 विभिन्न पर्यटन स्थलों के दर्शन कराए गए हैं।