AI-171 Crash: लैंडिंग गियर का वापस न लिया जाना, इंजन फेल होना? अनुभवी पायलट ने AI-171 दुर्घटना का किया विश्लेषण

AI-171 Crash: अहमदाबाद में दुर्घटनाग्रस्त हुए एयर इंडिया बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर को उड़ाने वाले एक सीनियर कमर्शियल पायलट ने बताया कि भारत की सबसे घातक विमानन दुर्घटनाओं में से एक में क्या गलत हुआ होगा। पिछले साल तक एयर इंडिया के लिए बोइंग 787 उड़ाने वाले कैप्टन राकेश राय ने विमान के प्रदर्शन की विशेषताओं, ड्रीमलाइनर के साथ अपने अनुभवों और फ्लाइट AI-171 के दुर्घटनाग्रस्त होने के कारणों के बारे में विस्तार से बताया

अपडेटेड Jun 14, 2025 पर 1:02 PM
Story continues below Advertisement
कई संभावनाओं की बात करते हुए अनुभवी पायलट इस बात पर जोर दिया कि केवल डिजिटल फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर (DFDR) या ब्लैक बॉक्स से प्राप्त डेटा ही वास्तविक कारण का पता लगा सकता है

AI-171 Crash: अहमदाबाद में दुर्घटनाग्रस्त हुए एयर इंडिया बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर (Air India Boeing 787-8 Dreamliner) को उड़ाने वाले एक सीनियर कमर्शियल पायलट ने बताया कि भारत की सबसे घातक विमानन दुर्घटनाओं में से एक में क्या गलत हुआ होगा। पिछले साल तक एयर इंडिया के लिए बोइंग 787 उड़ाने वाले कैप्टन राकेश राय (Captain Rakesh Rai) ने NDTV को विमान के प्रदर्शन की विशेषताओं, ड्रीमलाइनर के साथ अपने अनुभवों और फ्लाइट AI-171 के दुर्घटनाग्रस्त होने के कारणों के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने अपने सहकर्मी और मित्र कैप्टन सुमीत सभरवाल (Captain Sumeet Sabharwal) को भी याद किया, जिन्होंने दुर्घटना में अपनी जान गंवा दी थी।

राय ने एनडीटीवी से कहा, "सुमीत सभरवाल उनके बहुत अच्छे दोस्त थे। मैंने उनके साथ कई बार उड़ान भरी है। बहुत अच्छे इंसान, बहुत मृदुभाषी, बहुत विनम्र थे। एक करीबी दोस्त को खोना, एक खूबसूरत मशीन को खोना और निश्चित रूप से, इतने सारे यात्रियों को खोना बहुत दुखद है।"

गियर (wheels and associated struts) वापस नहीं लिया लेना


कैप्टन राय ने सीसीटीवी फुटेज में दिखाई देने वाली एक महत्वपूर्ण विसंगति की ओर इशारा किया। टेक-ऑफ के बाद लैंडिंग गियर वापस नहीं लिया गया था। उन्होंने कहा, "उसका रोटेशन रेट और जिस तरह से वह ऊपर चढ़ा, वह बहुत सामान्य है। लेकिन शायद 400 से 500 फीट की ऊंचाई पर कुछ गड़बड़ हो गई। विमान लगभग 600 फीट तक पहुंच गया, लेकिन अंडरकैरिज अभी भी नीचे था।"

उन्होंने बताया कि स्टैंडर्ड प्रोसेस के अनुसार विमान के ऊपर उड़ने का पॉजिटिव रेट मिलने के बाद गियर को वापस लेना आवश्यक है। जो आमतौर पर उड़ान भरने के बाद पहले 100 फीट के अंदर होता है। ऐसा न करने से क्लाइम्ब परफॉर्मेंस में गंभीर बाधा आती है और महत्वपूर्ण सवाल खड़े होते हैं।

संभावित स्थितियां

राय ने कई संभावित हालातों की रूपरेखा तैयार की। एक पक्षी से टकराना है, हालांकि इसे काफी हद तक खारिज कर दिया गया है। एक और संभावना अचानक बिजली की कमी है, जिसने चालक दल को गियर वापस लेने ध्यान हटा दिया हो सकता है।

तीसरी, दुर्लभ स्थिति यह हो सकती है कि सह-पायलट गलती से लैंडिंग गियर की बजाय फ्लैप को वापस खींच ले। उन्होंने कहा "फ्लैप को वापस खींचने से लिफ्ट तुरंत खत्म हो जाएगी। वहीं गियर नीचे होने पर, थ्रस्ट ड्रैग का सामना नहीं कर पाएगा।" हालांकि उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि केवल डिजिटल फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर (DFDR) या ब्लैक बॉक्स से प्राप्त डेटा ही वास्तविक कारण का पता लगा सकता है।

क्या यह दुर्घटना इंजन फेल होने की हो सकती है?

अनुभवी पायलट ने इंजन फेल की संभावना पर भी चर्चा की। उन्होंने कहा, "एक संभावना यह है कि एक इंजन फेल हो गया हो और गलत इंजन बंद हो गया हो या एक दुर्लभ मामले में, दोनों इंजन फेल हो गए हों।" हालांकि, उन्होंने कहा कि इतनी सीमित ऊंचाई होने और समय कम होने के साथ रिकवरी बेहद मुश्किल होगी।

उन्होंने कहा, "ऐसे मामले में पायलटों के पास लगभग 25 सेकंड का समय था। रिएक्शन टाइम को ध्यान में रखते हुए, उनके पास संभलने के लिए शायद 20 सेकंड का समय था। यह बहुत ही कम समय होता है।"

सिम्युलेटर ट्रेनिंग पायलटों को तैयार करती है, लेकिन हर चीज के लिए नहीं

कैप्टन राय ने पायलटों द्वारा किए जाने वाले कठोर सिम्युलेटर ट्रेनिंग के बारे में बताया। उन्होंने कहा, "सिम्युलेटर में, हम साल में कम से कम दो बार विभिन्न प्रकार की आपात स्थितियों का सामना करते हैं। सिम्युलेटर बेहद यथार्थवादी है। लेकिन दो इंजन के फेल होने वाली ट्रेनिंग आमतौर पर नहीं की जाती है क्योंकि यह एक ऐसी घटना है जिसकी संभावना 10 लाख में एक होती है।"

उन्होंने जोर देकर कहा कि सिमुलेटर में, पॉजिटिव उड़ान के बाद गियर वापस लेना सबसे पहले सिखाये जाने वाले एक्शन में से एक है। "इसके बाद ही हमें इंजन में आग लगने या इसके फेल होने जैसी आपात स्थितियों का सामना करना पड़ता है। गियर-डाउन इश्यू इस त्रासदी का मुख्य कारण प्रतीत होता है," उन्होंने कहा।

अनुभवी कप्तान ने दोहराया कि हालांकि पायलटों को उच्च दबाव वाली स्थितियों के लिए प्रशिक्षित किया जाता है, लेकिन इस उड़ान के दौरान उपलब्ध कम समय में संभवतः रिकवरी के लिए कोई जगह नहीं बची। उन्होंने कहा कि इस त्रासदी के निश्चित उत्तर केवल उड़ान डेटा की गहन जांच के माध्यम से ही मिलेंगे।

 

 

 

हिंदी में शेयर बाजार स्टॉक मार्केट न्यूज़,  बिजनेस न्यूज़,  पर्सनल फाइनेंस और अन्य देश से जुड़ी खबरें सबसे पहले मनीकंट्रोल हिंदी पर पढ़ें. डेली मार्केट अपडेट के लिए Moneycontrol App  डाउनलोड करें।