Nishikant Dubey: 'देश छोड़ने की करो तैयारी, आ रहे हैं...'; राहुल गांधी के 'Gen Z' वाले बयान पर BJP सांसद निशिकांत दुबे का पलटवार

Gen Z India: हाल ही में नेपाल में Gen-Z के एक बड़े आंदोलन के बाद राजनीतिक स्थिति पूरी तरह बदल गई थी। कांग्रेस नेता राहुल गांधी के पोस्ट पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने कहा कि 'जेन जेड' पारिवारिक राजनीति, भ्रष्टाचार और वैचारिक अस्पष्टता के खिलाफ मजबूती से खड़ी है

अपडेटेड Sep 19, 2025 पर 8:42 AM
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Gen Z India: निशिकांत दुबे ने राहुल गांधी पर तंज कसते हुए कहा कि देश छोड़ने की आप तैयारी करो

Gen Z India: लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने 'जेन जेड' को लोकतंत्र और संविधान का रक्षक बताया है। उनके इस बयान पर राजनीतिक घमासान मच गया है। हाल ही में नेपाल में Gen-Z के एक बड़े आंदोलन के बाद राजनीतिक स्थिति पूरी तरह बदल गई थी। राहुल गांधी के पोस्ट पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने कहा कि 'जेन जेड' पारिवारिक राजनीति, भ्रष्टाचार और वैचारिक अस्पष्टता के खिलाफ मजबूती से खड़ी है। उन्होंने कांग्रेस नेता पर तंज कसते हुए कहा, 'देश छोड़ने की आप करो तैयारी आ रहे हैं...'

निशिकांत दुबे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, "Gen Z परिवार वाद के खिलाफ है। 1. वह नेहरु जी,इंदिरा जी, राजीव जी, सोनिया जी के बाद राहुल जी को क्यूं बर्दाश्त करेगा?…2. वह भ्रष्टाचार के खिलाफ है, आपको क्यूं नहीं भगाएगा? 3. वह बांग्लादेश में इस्लामिक राष्ट्र तथा नेपाल में हिंदू राष्ट्र बनाना चाहता है। वह भारत को हिंदू राष्ट्र क्यूं नहीं बनाएगा? देश छोड़ने की आप करो तैयारी आ रहे हैं.......।"

इससे पहले राहुल गांधी ने अपनी एक तस्वीर के साथ X पर लिखा था, "देश के Yuva, देश के Students, देश की Gen Z, संविधान को बचाएंगे, लोकतंत्र की रक्षा करेंगे और वोट चोरी को रोकेंगे। मैं उनके साथ हमेशा खड़ा हूं। जय हिंद!" 'जेन जेड' पीढ़ी से तात्पर्य 1997 से 2012 के बीच पैदा हुए युवाओं से है।


Gen Z ने हाल ही में नेपाल में हिंसक प्रदर्शन किए थे, जिससे वहां की सरकार गिर गई। 8-9 सितंबर को हुए हिंसक विरोध प्रदर्शनों के दौरान तीन पुलिसकर्मियों सहित 72 लोग मारे गए थे, जिसके कारण केपी शर्मा ओली के नेतृत्व वाली सरकार गिर गई थी। प्रदर्शनों के दौरान नेताओं के घरों, महत्वपूर्ण सरकारी इमारतों, व्यावसायिक प्रतिष्ठानों और शॉपिंग कॉम्प्लेक्सों में भी आग लगा दी गई।

8 सितंबर को विरोध प्रदर्शनों के दौरान पुलिस कार्रवाई में कम से कम 19 लोगों की मौत के लिए ओली इस्तीफे की मांग करते हुए सैकड़ों प्रदर्शनकारियों द्वारा उनके कार्यालय में घुसने के तुरंत बाद ओली ने 9 सितंबर को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था।

इस बीच, काठमांडू में सुरक्षा स्थिति में सुधार के साथ जनजीवन सामान्य हो गया है। गुरुवार को राष्ट्रीय राजधानी की सड़कों पर चहल-पहल और वाहनों की आवाजाही देखी गई। विजयादशमी और दीपावली के त्योहारों के नजदीक आते ही लोग बाजार में खरीदारी के लिए उमड़ पड़ते हैं।

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पुनर्निर्माण और आगे बढ़ने के लिए नेपाल के कई मंत्रालयों ने जेन-जेड विरोध प्रदर्शनों के दौरान हुए नुकसान का आकलन शुरू कर दिया है। पुलिस ने काठमांडू में प्रदर्शन के दौरान जलाए गए वाहनों का विवरण भी एकत्र करना शुरू कर दिया है। 8 और 9 सितंबर को हुए हिंसक विरोध प्रदर्शनों के दौरान कम से कम 121 चार पहिया और 158 दोपहिया वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया था।

Akhilesh Nath Tripathi

Akhilesh Nath Tripathi

First Published: Sep 19, 2025 8:41 AM

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