अहमदाबाद–मुंबई बुलेट ट्रेन ही नहीं, अब केंद्र सरकार अमृतसर और जम्मू के बीच भी बुलेट ट्रेन चलाने की योजना पर काम कर रही है। यह 240 किलोमीटर लंबा हाई-स्पीड रेल नेटवर्क होगा। कश्मीर घाटी में हाल ही में वंदे भारत ट्रेन शुरू होने के बाद, यह प्रोजेक्ट जम्मू-कश्मीर के लिए एक और बड़ा कदम माना जा रहा है। न्यूज18 के रिपोर्ट के मुताबिक नेशनल हाई-स्पीड रेल अथॉरिटी ने अमृतसर-जम्मू हाई-स्पीड रेल कॉरिडोर के लिए “अलाइनमेंट और एरियल सर्वे” यानी रूट तय करने और हवाई सर्वे का अंतिम चरण शुरू करने के लिए बोली मांगी है।
अमृतसर से जम्मू बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट का काम जारी
बता दें कि अमृतसर और जम्मू दोनों ही पंजाब और जम्मू-कश्मीर के बड़े व्यापारिक शहर हैं। ऐसे में यह बुलेट ट्रेन इन दोनों राज्यों के बीच तेज़ यात्रा और आर्थिक विकास को बढ़ावा देगी। डॉक्यूमेंट में कहा गया है कि अमृतसर और जम्मू के बीच बढ़ती यात्री संख्या और बड़े शहरों व आर्थिक केंद्रों को हाई स्पीड रेल नेटवर्क से जोड़ने के लिए हाई-स्पीड रेल कॉरिडोर बनाने पर काम हो रहा है। इस रूट में जरूरी जगहों, बड़े सार्वजनिक क्षेत्रों और अन्य महत्वपूर्ण बिंदुओं को ध्यान में रखा जाएगा। इसी उद्देश्य से NHSRCL इस कॉरिडोर की डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार कर रहा है।
जारी है रूट प्लानिंग और फाइनल लोकेशन सर्वे
अमृतसर–जम्मू कॉरिडोर के लिए फिलहाल शुरुआती रूट प्लानिंग और फाइनल लोकेशन सर्वे किया जा रहा है। इसके तहत, रूट को फाइनल करने के लिए एरियल LiDAR तकनीक से सर्वे होगा, ताकि ट्रैक का सही और सुरक्षित डिजाइन तैयार किया जा सके। यह सर्वे रेल लाइन के अंतिम मार्ग को तय करने में अहम भूमिका निभाएगा। इस साल जुलाई में सरकार ने संसद को बताया था कि मुंबई–अहमदाबाद बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट के बाद देश में हाई-स्पीड रेल नेटवर्क को और बढ़ाने की योजना है। इसका मकसद बड़े कारोबारी, आर्थिक और पर्यटन से जुड़े शहरों के बीच तेजी से बढ़ती यात्री मांग को पूरा करना है।
हर पहलू का ध्यान रख रही है सरकार
सरकार ने कहा कि हाई-स्पीड रेल प्रोजेक्ट बहुत बड़े निवेश वाले होते हैं। इसलिए नए प्रोजेक्ट शुरू करने का निर्णय कई चीजों पर निर्भर करता है - जैसे तकनीकी योग्यता, आर्थिक और वित्तीय लाभ, यात्री मांग, बजट की उपलब्धता और फंडिंग के विकल्प। सरकार ने यह भी बताया कि मुंबई–अहमदाबाद बुलेट ट्रेन शुरू होने के बाद टिकट कीमतें आम लोगों की आर्थिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए किफायती रखी जाएंगी, ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग इस सेवा का इस्तेमाल कर सकें और हाई-स्पीड रेल यात्रा लोकप्रिय हो सके।