Parliament Monsoon Session 2025: सत्ता पक्ष और विपक्ष के प्रतिनिधियों ने शुक्रवार (25 जुलाई) को लोकसभा स्पीकर ओम बिरला के साथ बैठक में फैसला किया कि सदन में गतिरोध खत्म करके अगले सोमवार (28 जुलाई) से कार्यवाही नियमित रूप से संचालित की जाएगी। ओम बिरला की तरफ से बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में गतिरोध खत्म करने पर सहमति बनी। सरकार की तरफ से पहलगाम और 'ऑपरेशन सिंदूर' पर विदेश मंत्री एस जयशंकर, केंद्रीय गृह मंत्री अमित और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह चर्चा में हिस्सा लेंगे।
सदन में कांग्रेस के मुख्य सचेतक कोडिकुनिल सुरेश ने न्यूज एजेंसी पीटीआई को बताया कि अगले सोमवार से सदन में पहलगाम आतंकी हमले और 'ऑपरेशन सिंदूर' पर विशेष चर्चा होगी। सूत्रों का कहना है कि ओम बिरला ने सत्तापक्ष और विपक्षी दलों के नेताओं की शुक्रवार दोपहर बैठक बुलाई थी जिसमें गतिरोध खत्म करने पर सहमति बनी। बैठक में संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू, संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल, कांग्रेस नेता गौरव गोगोई और कई अन्य दलों के नेता शामिल हुए।
इससे पहले शुक्रवार को सदन की कार्यवाही शुरू होने पर जब विपक्षी सदस्यों ने हंगामा शुरू कर दिया था तो स्पीकर बिरला ने उनसे गतिरोध समाप्त करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा था कि विपक्ष को किसी विषय पर चर्चा करनी है तो वे आएं, सरकार के प्रतिनिधियों के साथ बातचीत करके गतिरोध को समाप्त किया जा सकता है।
उन्होंने कहा, "हर मुददे पर सरकार से बात करके चर्चा का रास्ता निकाला जा सकता है।" पहलगाम आतंकी हमला, ऑपरेशन सिंदूर और वोटर लिस्ट के स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) के मुद्दों पर विपक्ष के हंगामे के कारण मानसून सत्र के पहले सप्ताह में सदन की कार्यवाही बाधित रही।
विपक्षी गठबंधन इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस (इंडिया) के कई घटक दलों के सांसदों ने बिहार में वोटर लिस्ट के SIR के खिलाफ शुक्रवार को संसद भवन परिसर में मार्च किया। इस दौरा प्रतीकात्मक विरोध करते हुए एसआईआर लिखे पोस्टर फाड़कर कूड़ेदान में डाले। विपक्ष के नेताओं ने महात्मा गांधी की प्रतिमा से संसद भवन के 'मकर द्वार' तक मार्च निकाला।
इस विरोध प्रदर्शन में कांग्रेस नेता एवं लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा, समाजवादी पार्टी, तृणमूल कांग्रेस, राष्ट्रीय जनता दल और कई अन्य दलों के सांसद शामिल हुए। संसद परिसर में ही विपक्षी नेताओं ने प्रतीकात्मक विरोध करते हुए एक कूड़ेदान रखा। फिर एसआईआर लिखे पोस्टर फाड़कर उसमें डाले। खड़गे, राहुल गांधी और कई अन्य सांसदों ने भी ऐसा किया।
विपक्षी सांसदों ने एक बड़ा बैनर भी ले रखा था, जिस पर ‘SIR- लोकतंत्र पर वार’ लिखा हुआ था। उन्होंने 'एसआईआर वापस लो' और 'तानाशाही नहीं चलेगी' के नारे लगाए। विपक्षी सांसदों की मांग है कि इस विषय पर संसद में चर्चा होनी चाहिए। खड़गे ने आरोप लगाया कि सरकार गरीबों का मताधिकार छीनना चाहती है और रसूखदार लोगों को ही मताधिकार देना चाहती है।