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Dhanteras 2024: आज धनतेरस के दिन जलाएं 13 दीये, अकाल मृत्यु का भय होगा खत्म, पूरी होंगी सभी मनोकामनाएं

Dhanteras 2024: दिवाली के उत्सव की शुरुआत आज (29 अक्टूबर 2024) से हो गई है। देश भर में आज धनतेरस की धूम मची हुई है। आज के दिन 13 दीये जलाना शुभ माना गया है। हर दीये का अपना एक अलग महत्व होता है। इससे अकाल मौत तक का भय खत्म हो जाता है। इसके साथ ही सभी मनोवांछित कामनाएं पूरी हो जाएंगी

MoneyControl Newsअपडेटेड Oct 29, 2024 पर 10:28 AM
Dhanteras 2024: आज धनतेरस के दिन जलाएं 13 दीये, अकाल मृत्यु का भय होगा खत्म, पूरी होंगी सभी मनोकामनाएं
Dhanteras 2024: 13 दीयों को जलाने के लिए दिशाओं का ज्ञान होना बेहद जरूरी है।

दिवाली यानी दीपावली को हिंदुओं के बड़े त्योहारों में से एक माना जाता है। जिसकी शुरुआत धनतेरस से होती है। सबसे पहले धनतेरस फिर नरक चतुर्दशी, दिवाली, गोवर्धन पूजा और आखिरी में भाई दूज का पर्व मनाया जाता है। दिवाली से कुछ दिन पहले ही लोग अपने घरों और दुकानों को लाइटों और फूलों से सजाते हैं। जबकि इन पांच दिनों के दौरान घर और दुकानों में दिये जलाए जाते हैं। जिसे अंधकार पर प्रकाश की विजय का प्रतीक माना जाता है। इस दिन 13 दीये जलाना भी शुभ माना जाता है। इससे अकाल मौत तक भय भी खत्म हो जाता है। हर एक दीये का अपना एक अलग महत्व होता है।

दरअसल, धनतेरस के त्योहार से ही दिवाली पर्व की शुरुआत हो जाती है। पौराणिक कथाओ के अनुसार इस दिन समुद्र मंथन से धन्वंतरि भगवान प्रकट हुए थे। इसलिए धनतेरस के दिन धन्वंतरि जी की पूजा का खास महत्व है। इस बार धनतेरस का त्योहार 29 अक्टूबर को मनाया जाएगा। इस दिन दीप दान करने की भी विशेष परंपरा है। ऐसा करने से व्यक्ति को उसके सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है। धनतेरस के दिन से ही दीप जलाने की शुरुआत हो जाती है। यह 5 दिनों तक चलता है।

धन्वंतरि पूजा का महत्व

धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरी की पूजा की जाती है। ऐसे में धनतेरस पूजा के लिए शुभ मुहूर्त की शुरुआत गोधूल काल में होगी। यह आज (29 अक्टूबर) शाम 6.31 बजे से 8,13 बजे तक रहेगा। इस तरह धनतेरस पर भगवान धन्वंतरी, गणेश और कुबेर जी की पूजा के लिए कुल 1 घंटा 41 मिनट का समय मिलेगा।

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