डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्युनिकेशन (DoT) ने 5G स्पेक्ट्रम के लिए बोली लगाने वाली कंपनियों (Pre-Qualified bidders) की लिस्ट जारी कर दी है। इसके मुताबिक, रिलायंस जियो ने 14,000 करोड़ रुपये बतौर earnest money deposit (EMD) जमा किया है। भारती एयरटेल ने 5,500 करोड़ रुपये बतौर ईएमडी जमा किया है।
वोडाफोन आइडिया ने बतौर ईएमडी 2,200 करोड़ रुपये डिपॉजिट किया है। अडानी डाटा नेटवर्क्स ने 100 करोड़ रुपये बतौर ईएमडी डिपॉजिट किया है। रिलायंस जियो देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी है। यह रिलायंस इंडस्ट्रीज (RIL) की टेलीकॉम इकाई है। अडानी डाटा नेटवर्क्स ने कुछ ही दिन पहले 5G स्पेक्ट्रम की नीलामी में बोली लगाने का ऐलान किया था। यह देश के सबसे बड़े कारोबारी समूहों में शामिल अडानी ग्रुप की कपंनी है।
उपर्युक्त सभी टेलीकॉम कंपनियों ने बतौर अप्लिकेशन फीस 1,00,000 रुपये चुकाए हैं। 5G स्पेक्ट्रम की नीलामी 26 जुलाई से शुरू होगी। आम तौर पर ईएमडी की रकम से स्पेक्ट्रम हासिल करने में कंपनियों की दिलचस्पी, रणनीति और प्लान का संकेत मिलता है। इससे यह भी पता चलता है कि किस इलाके में कितने स्पेक्ट्रम के लिए किस कंपनी ने अप्लाई किया है।
14,000 करोड़ रुपये की ईएमडी के साथ रिलायंस जियो को ऑक्शन में 1,59,830 प्वॉइंट्स दिए गए हैं। यह बोली लगाने वाली चार कंपनियों में सबसे ज्यादा है। एयरटेल को 66,330 एलिजिबिलिटी प्वॉइंट्स मिले हैं। वोडाफोन को 29,370 एलिजिबल प्वॉइंट्स मिले हैं। अडानी डाटा नेटवर्क्स को 1,650 एलिजिबिलिटी प्वॉइंट्स मिले हैं।
26 जुलाई को होने वाली नीलामी में कुल 72 गीगाहर्ट्ज स्पेक्ट्रम की नीलामी होगी। इसकी कीमत कम से कम 4.3 लाख करोड़ रुपये होगी। CNBC TV18 के मुताबिक, सरकार को इस नीलामी से 80,000 से एक लाख करोड़ रुपये तक की कमाई हो सकती है।