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शेयर बाजार पर टैक्स का बोझ काफी बढ़ गया, लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स टैक्स बढ़ने से हुई हैरानी- रामदेव अग्रवाल

मोतीलाल ओसवाल के रामदेव अग्रवाल ने कहा कि बजट के ऐलानों के मुताबिक लॉन्ग टर्म, शॉर्ट टर्म और स्पेकुलेशन तीनों कैटेगरी में 25 से 30 प्रतिशत ज्यादा टैक्स देना होगा। उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि शेयर बाजार पर टैक्स का बोझ काफी बढ़ाया गया है। सरकार चाहती है आपने इक्विटी में ज्यादा पैसा कमाया है तो थोड़ा उन्हें भी दीजिये

अपडेटेड Jul 23, 2024 पर 6:30 PM
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रामदेव अग्रवाल ने कहा कि शॉर्ट टर्म और स्पेकुलेशन पर टैक्स का बोझ बढ़ाना ठीक है लेकिन लॉन्ग टर्म में टैक्स बढ़ाने वाली बात समझ में नहीं आई

Union Budget 2024 - बजट ने निवेशकों पर टैक्स का बोझ बढ़ा दिया है। शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन टैक्स को 15 परसेंट से बढ़ाकर 20 परसेंट कर दिया है। वहीं LTCG को 10 परसेंट से बढ़ाकर 12.5 परसेंट कर दिया है। इसके साथ ही अबकी बार के बजट में बायबैक से इनकम पर टैक्स देना होगा। इसके अलावा अनलिस्टेड MF, बॉन्ड पर भी टैक्स लगेगा। वहीं प्रॉपर्टी पर भी इंडेक्सेसन का फायदा खत्म कर दिया गया है। अबकी बार के बजट घोषणाओं के बाजार के लिहाज से क्या मायने हैं। वित्त मंत्री के ऐलानों पर शेयर बाजार के निवेशकों और ट्रेडर्स पर क्या असर होगा। इस पर मोतीलाल ओसवाल के एमडी रामदेव अग्रवाल ने हमारे सहयोगी चैनल सीएनबीसी-आवाज़ से बात में कहा कि बाजार में तीनों कैटगरी में 25 से 20 प्रतिशत तक टैक्स लग सकता है।

शेयर बाजार पर बढ़ा टैक्स का बोझ

रामदेव ने आगे कहा कि बाजार में जो पार्टी चल रही है उस लिहाज से लॉन्ग टर्म, शॉर्ट टर्म और स्पेकुलेशन तीनों कैटेगरी में 25 से 30 प्रतिशत ज्यादा टैक्स देना होगा। उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि शेयर बाजार पर टैक्स का बोझ काफी बढ़ाया गया है।


उन्होंने कहा कि लॉन्ग टर्म टैक्स 10 परसेंट से बढ़ाकर 12.5 परसेंट किया गया है। शॉर्ट टर्म में 15 परसेंट से बढ़ाकर 20 परसेंट कर दिया है। स्पेकुलेशन में भी 40 से 50 परसेंट ज्यादा टैक्स लगा दिया है।

एसेट क्लास को मिलना चाहिए बढ़ावा

रामदेव ने आगे कहा कि सरकार का ये मानना है कि आपने इक्विटी में ज्यादा पैसा कमाया है तो थोड़ा हमें भी दीजिये। सरकार को इन एसेट क्लास को बढ़ावा देना चाहिए लेकिन ऐसा नहीं हुआ। मैं मानता हूं कि आपने स्पेकुलेशन पर नकेल लगाई है और शॉर्ट टर्म पर भी लगाम लगाई है या इन दोनों कैटेगरी में टैक्स बढ़ाया है। लेकिन सरकार ने लॉन्ग टर्म में 10 से बढ़ाकर 12.5 परसेंट का टैक्स लगा दिया है ये बात हजम नहीं हो रही है।

मुझे लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स इतना क्यों बढ़ाया इसका लॉजिक समझ में नहीं आया। इसके पीछे ऐसा समझा जा सकता है कि सरकार चाहती है आपने गेन्स कमाया है उसका कुछ हिस्सा हमें भी दो। शॉर्ट टर्म और स्पेकुलेशन पर टैक्स का बोझ बढ़ाना समझ में आया लेकिन लॉन्ग टर्म में टैक्स बढ़ाने वाली बात मेरी समझ से परे है।

(डिस्क्लेमरः Moneycontrol.com पर दिए जाने वाले विचार और निवेश सलाह निवेश विशेषज्ञों के अपने निजी विचार और राय होते हैं। Moneycontrol यूजर्स को सलाह देता है कि वह कोई निवेश निर्णय लेने के पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट से सलाह लें।)

 

 

 

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