प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate or ED) ने संकट का सामना कर रही जेनसोल इंजीनियरिंग लिमिटेड के खिलाफ छापेमारी की है। साथ ही ED ने दिल्ली के होटल से कंपनी के को-प्रमोटर पुनीत सिंह जग्गी को हिरासत में लिया है। न्यूज एजेंसी पीटीआई की एक रिपोर्ट में सोर्सेज के हवाले से कहा गया है कि रेड, जेनसोल इंजीनियरिंग के दिल्ली, गुरुग्राम और अहमदाबाद परिसरों में पड़ी। यह एक्शन FEMA यानि फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट एक्ट के प्रावधानों के तहत लिया गया।
कंपनी के प्रमोटर भाई अनमोल सिंह जग्गी और पुनीत सिंह जग्गी, SEBI की जांच की रिपोर्ट के बाद अब ED की जांच के घेरे में हैं। जेनसोल इंजीनियरिंग और प्रमोटर्स पर कथित वित्तीय कदाचार और फंड के डायवर्जन का आरोप है।
पीटीआई के मुताबिक, सूत्रों का कहना है कि पुनीत सिंह जग्गी को ED ने दिल्ली के एक होटल से हिरासत में लिया, जबकि अनमोल सिंह जग्गी दुबई में बताए जा रहे हैं। दोनों भाई इलेक्ट्रिक कैब सर्विसेज कंपनी ब्लूस्मार्ट के भी को-फाउंडर हैं।
जेनसोल इंजीनियरिंग और प्रमोटर्स पर क्या हैं आरोप
जेनसोल इंजीनियरिंग पर पैसों को डायवर्ट करने, कर्ज का गलत इस्तेमाल करने और संबंधित पक्षों के माध्यम से अपने स्टॉक में ट्रेड को फाइनेंस करने का आरोप है। जेनसोल पर आरोप है कि उसने ईवी खरीद के लिए 200 करोड़ रुपये से अधिक की राशि डायवर्ट की। कंपनी के प्रमोटर्स अनमोल सिंह जग्गी और पुनीत सिंह जग्गी ने ब्लूस्मार्ट के लिए नए इलेक्ट्रिक व्हीकल खरीदने के लिए लिए गए लोन को अपने निजी हित के लिए इस्तेमाल किया, जैसे कि गुरुग्राम में लग्जरी अपार्टमेंट की खरीद।
SEBI ने आरोप लगाया है कि जेनसोल इंजीनियरिंग से पैसे को प्राइवेट प्रमोटर एंटिटीज और प्रमोटर्स को ट्रांसफर किया गया। जेनसोल के प्रमोटर्स पर जेनसोल के शेयरों में ट्रेड करने के लिए एक प्राइवेट एंटिटी वेलरे का इस्तेमाल करेन और इसके लिए उसे फंड मुहैया कराने का भी आरोप है।