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Aak Leaves For Diabetes: आक से ब्लड शुगर का खत्म होगा नामो-निशान, लकवा और जोड़ों में दर्द हो जाएगा छू मंतर...

Aak Leaves For Diabetes: डायबिटीज से अगर आप पीड़ित हैं और पूरी उम्र दवा नहीं खाना चाहते हैं तो आज हम आपके लिए एक बेहतर दवा लेकर आए हैं। हम जिन पत्तों के बारे में बात कर रहे हैं वो आक के पत्ते हैं। इन्हे मदार, अर्क, अकोवा के नाम से भी जाना जाता है। ये सभी स्थानीय नाम हैं

अपडेटेड Mar 05, 2024 पर 8:36 AM
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Aak Leaves For Diabetes: आक के पत्तों को कुछ ही देर तलवों पर लगाने से ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल में आ जाता है

Aak Leaves For Diabetes: डायबिटीज (Diabetes) एक लाइलाज बीमारी की तरह है। जिसे सिर्फ बेहतर लाइफस्टाइल और हेल्दी डाइट के जरिए कंट्रोल किया जा सकता है। इसमें ब्लड शुगर बढ़ने लगता है। जिससे मरीज को ज्यादा प्यास लगना, गला सूखना, मुंह सूखना, बीपी कम होना, त्वचा का सूखना, चक्कर आना, कमजोरी, कम दिखाई देना और चोट का ठीक नहीं होना जैसी समस्याएं होने लगती हैं। ऐसे में आप आक के पत्तों का इस्तेमाल कर सकते हैं। इन्हे मदार, अर्क, अकोवा के नाम से भी जाना जाता है। ये सभी स्थानीय नाम हैं। आक के पत्ते अन्य रोगों के लिए बेहद फायदेमंद होते हैं। जैसे जोडों में दर्द और पैरालिसिस (लकवा) के लिए यह पत्ते किसी रामबाण से कम नहीं हैं।

दरअसल, आक का पौधा बहुत ही विषैला होता है। जंगलों-झाड़ियों के बीच आक का पौधा आपको बहुत ही आसानी से नजर आ जाएगा। यह पौधा विषैला होने के बावजूद सेहत के लिए किसी दवा से कम नहीं है। इसकी फूल और पत्तियां डायबिटीज, अस्थमा और कुष्ठ के रोगियों के लिए बहुत ही फायदेमंद साबित हो सकते हैं। डायबिटीज ही नहीं यह कई तरह की स्किन एलर्जी से आपको बचा सकता है। आप के पौधों की पत्तियों से आप डायबिटीज को ठीक कर सकते हैं।

आक के पत्तों से डायबिटीज को दूर भगाएं


आक को अंग्रेजी में जायंट कैलोट्रोप (Giant Calotrope) के नाम से जानते हैं। इसका वैज्ञानिक नाम कैलोट्रोपिल गिगनटी (Calotropis Gigantea) है। आक के पत्ते मुलायम होते हैं और इसका रंग थोड़ा हरा और थोड़ा सफेद होता है, लेकिन सूखने के बाद ये पीले रंग के नजर आने लगते हैं। डायबिटीज (Diabetes) के मरीजों के लिए आक के पत्ते (Aak Leaves) किसी वरदान से कम नहीं हैं। आयुर्वेदिक दवा स्वर्णभस्म में आक के रस का इस्तेमाल किया जाता है। इस दवा का इस्तेमाल डायबिटीज के उपचार में किया जाता है। आक के पौधे में एंटीऑक्सीडेंट, एंटी इंफ्लेमेटरी और चोट को सही करने के गुण पाए जाते हैं। एंटीऑक्सिडेंट जो शरीर में ऑक्सीडेटिव तनाव को कम करने में मदद कर सकते हैं। एंटी इंफ्लेमेटरी गुण ब्लड शुगर को कंट्रोल करने में मदद करते हैं।

डायबिटीज के मरीज आक के पत्तों को कैसे करें इस्तेमाल

आक के पत्ते (Aak Leaves) को धूप में सुखा लें। फिर इसे पीसकर पाउडर बना लेंष अब रोजाना 10 मिलीलिटर पानी में इस पाउडर को मिलाकर सेवन करें। दूसरा तरीका ये है कि आप आक के पत्तों को तोड़कर साफ कर लें। फिर तलवे में लगाकर मोजे पहन लें और सो जाएं। सुबह के वक्त मोजे उतार लें, ऐसा करने से डायबिटीज के मरीजों का ब्लड शुगर लेवल कम हो जाएगा।

आक के पत्तों के अन्य फायदे

1 - अस्थमा रोगियों के लिए आक का फूल बहुत ही फायदेमंद होता है। इसके फूलों को सूखा कर नियमित रूप से इसका सेवन करने से अस्थमा और फेफड़ों की परेशानी को दूर किया जा सकता है।

2 - आक के पत्तों का इस्तेमाल करके बवासीर के रोगी इससे छुटकारा पा सकते हैं। इसके लिए आक की कुछ पत्तियों और डण्ठल को पानी में भिगो दें। कुछ घंटों बाद इस पानी को पिएं। ऐसा करने से बवासीर की समस्या हमेशा के लिए दूर हो जाएगी। यह पैरालिसिस मरीजों के लिए भी फायदेमंद माना गया है।

3 - स्किन में रूखापन और खुलजी की समस्या से भी आक का पौधा आपको छुटकारा दिला सकता है। खुजली से छुटकारा पाने के लिए इसकी जड़ों को जला लें। इस राख को सरसो के तेल में मिलाकर खुजली वाले स्थान पर लगाएं। इससे खुजली की परेशानी दूर हो जाएगी।

आक के पत्तों को इस्तेमाल में इन बातों का रखें ध्यान

आक के पत्ते से एक सफेद दूध निकलता है जो थोड़ा आंखों के लिए खतरनाक है। लिहाजा इस पत्ते के इस्तेमाल के वक्त सावधानी जरूर बरतें। इसके साथ ही ताजे पत्तों को बच्चों की पहुंच से दूर रखें। कहीं ऐसा न हो कि फायदा उठाने की जगह नुकसान हो जाए।

डिस्क्लेमर - यहां बताए गए उपाय सिर्फ सामान्य ज्ञान पर आधारित हैं। इसके लिए आप किसी हेल्थकेयर प्रोफेशनल से सलाह लेने के बाद ही अपनाएं।

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