Ayodhya Ram Mandir: आज टेंट से अपने भव्य मंदिर में विराजमान होंगे रामलला, जानें- 'प्राण-प्रतिष्ठा' से जुड़ी 10 बड़ी बातें

Ayodhya Ram Mandir: बीजेपी और उसके वैचारिक संरक्षक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के विभिन्न नेता पहले से ही अयोध्या में डेरा डाले हुए हैं, जिसने 11,000 से अधिक अतिथियों के स्वागत की तैयारी की है। पिछले हफ्तों में इस धार्मिक शहर में एक इंटरनेशनल एयरपोर्ट और एक पुनर्निर्मित रेलवे स्टेशन का उद्घाटन हुआ है

अपडेटेड Jan 22, 2024 पर 10:28 AM
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Ayodhya Ram Mandir: पीएम मोदी समेत 7000 से भी ज्यादा दिग्गज आज प्राण प्रतिष्ठा के साक्षी बनेंगे

Ram Mandir inauguration: देश भर में आज उत्साह का माहौल है, क्योंकि वर्षों के इंतजार के बाद अयोध्या के भव्य राम मंदिर में रामलला विराजमान होंगे। राम मंदिर के भव्य 'प्राण प्रतिष्ठा' समारोह के लिए कुछ ही घंटे बचे हैं। अयोध्या को अतिथियों के साथ-साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वागत के लिए फूलों से सजावट से सजाया गया है। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने कहा कि राम मंदिर 23 जनवरी से आम जनता के दर्शन के लिए खोल दिया जाएगा। पीएम मोदी समारोह में भाग लेने के लिए थोडी देर में अयोध्या पहुंचेंगे, जिसका सीधा प्रसारण किया जाएगा।

जानें, राम मंदिर के प्राण-प्रतिष्ठा से जुड़ी 10 बड़ी बातें

1- प्राण-प्रतिष्ठा समारोह पूरे देश में और विदेशों में भारतीयों द्वारा स्थानीय मंदिरों में विशेष प्रार्थनाओं और विभिन्न कार्यक्रमों के साथ मनाया जाएगा। इस अवसर को देशभर में दिवाली के रूप में मनाया जा रहा है। भारत सहित विदेशों में भी हिंदू मंदिरों और घरों को उत्सव की रोशनी से सजाया गया है।


2- पीएम मोदी राम मंदिर के प्राण-प्रतिष्ठा से पहले 11 दिनों के सख्त धार्मिक अनुष्ठानों का पालन कर रहे हैं। उनके कार्यालय से जारी एक बयान के अनुसार, वह अयोध्या पहुंचने के बाद इस अवसर पर सभा को भी संबोधित करेंगे।

3- एक बयान में कहा गया है, "ऐतिहासिक प्राण प्रतिष्ठा समारोह में देश के सभी प्रमुख आध्यात्मिक और धार्मिक संप्रदायों के प्रतिनिधि शामिल होंगे। विभिन्न आदिवासी समुदायों के प्रतिनिधियों सहित जीवन के सभी क्षेत्रों के लोग भी समारोह में शामिल होंगे।"

4- सूत्रों के मुताबिक पीएम मोदी राम मंदिर निर्माण में लगे मजदूरों से बातचीत करेंगे। वह कुबेर टीला भी जाएंगे, जहां भगवान शिव के प्राचीन मंदिर का जीर्णोद्धार किया गया है और पूजा-अर्चना करेंगे।

5- बीजेपी और उसके वैचारिक संरक्षक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के विभिन्न नेता पहले से ही अयोध्या में डेरा डाले हुए हैं, जिसने 11,000 से अधिक अतिथियों के स्वागत की तैयारी की है। पिछले हफ्तों में इस धार्मिक शहर में एक इंटरनेशनल एयरपोर्ट और एक पुनर्निर्मित रेलवे स्टेशन का उद्घाटन हुआ है। होटल, गेस्ट हाउस और होमस्टे तेजी से बढ़े हैं, जिससे आर्थिक उछाल आया है।

6- राम मंदिर का उद्घाटन समारोह को लेकर कांग्रेस, वामपंथी, तृणमूल कांग्रेस और समाजवादी पार्टी सहित अधिकांश विपक्षी दलों ने उदासीन रवैया अपनाया है, जिन्होंने बीजपी पर आरोप लगाया था चुनावी साल में धर्म से राजनीतिक लाभ प्राप्त करना है।

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7- बीजेपी ने पलटवार करते हुए कांग्रेस के मल्लिकार्जुन खड़गे, सोनिया गांधी और अधीर रंजन चौधरी सहित निमंत्रण अस्वीकार करने वाले सभी लोगों की निंदा की है। पार्टियों को हिंदू विरोधी बताते हुए बीजेपी ने ऐलान किया है कि उन्हें चुनाव में जनता से इसकी सजा मिलेगी।

8- इस आयोजन ने अन्य विवादों को भी जन्म दिया है, जिसमें चार प्रमुख मठों के शंकराचार्यों के दूर रहने का मामला भी शामिल है। पुरी और जोशीमठ के शंकराचार्यों ने कहा है कि अधूरे मंदिर का अभिषेक नहीं किया जा सकता।

9- उन्होंने यह भी सवाल किया है कि जब शंकराचार्यों को बाहर सीटें आवंटित की गई हैं तो पीएम मोदी गर्भगृह के अंदर क्यों होंगे। उनका आरोप है कि इस घटना को राजनीतिक रंग दिया जा रहा है।

10- मंदिर का निर्माण तब शुरू हुआ जब सुप्रीम कोर्ट ने 2019 के एक ऐतिहासिक फैसले में विवादित जमीन को मंदिर के लिए दे दिया और कहा कि मुसलमानों को मस्जिद के लिए वैकल्पिक भूखंड दिया जाए।

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