1970 और 1980 के दशक के दौरान, दिवंगत पूर्व प्रधान मंत्री मनमोहन सिंह ने केंद्र सरकार के भीतर कई बड़े और अहम पदों पर काम किया। उन्होंने मुख्य आर्थिक सलाहकार, भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर और योजना आयोग के प्रमुख जैसे पद संभाले। लेकिन 1991 में देर रात आए एक फोन कॉल ने न सिर्फ उनके पूरे जीवन को बदल दिया, बल्कि उन्हें दिग्गजों की कतार में ला खड़ा किया। जून 1991 में, मनमोहन सिंह को पूर्व पीएम पीवी नरसिम्हा राव के करीबी सहयोगी पीसी अलेक्जेंडर का देर रात फोन आया। उनके दामाद विजय तन्खा ने वो कॉल पिक किया और उन्हें मनमोहन को जगाने के लिए कहा गया।
