जरा सोचिए, अगर आपकी जिंदगी से नमक गायब हो जाए तो क्या होगा? बेस्वाद खाना, अधूरी सेहत और फीका एहसास। नमक न सिर्फ स्वाद बढ़ाता है, बल्कि हमारे शरीर के लिए भी बेहद जरूरी है। आमतौर पर भारत में यह सस्ता और आसानी से मिल जाता है, लेकिन दुनिया में एक ऐसा नमक भी है जिसकी कीमत सुनकर आप चौंक जाएंगे—कोरियाई बांस नमक। इसकी 250 ग्राम मात्रा की कीमत 7500 रुपये तक हो सकती है। इसकी अनोखी निर्माण प्रक्रिया और औषधीय गुण इसे इतना महंगा बनाते हैं। इतिहास गवाह है कि नमक के लिए बड़े आंदोलन हुए हैं, और आज भी यह कई देशों में कीमती माना जाता है।
तो आखिर यह कोरियाई बांस नमक क्या है, इसे कैसे बनाया जाता है, और क्यों इसकी कीमत इतनी ज्यादा है? आइए, इस खास नमक की रोचक कहानी जानते हैं।
क्या आप जानते हैं कि एक ऐसा नमक भी है जिसकी कीमत 250 ग्राम के लिए 7500 रुपये तक हो सकती है? यह नमक कोरिया में बनाया जाता है और इसे कोरियाई बांस नमक, बैंगनी बांस नमक या जुग्योम कहा जाता है।
भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में नमक की भूमिका
भारत के स्वतंत्रता संग्राम में भी नमक की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। ब्रिटिश शासन के दौरान नमक पर भारी टैक्स लगाया गया था, जिससे यह आम जनता के लिए महंगा हो गया था। महात्मा गांधी ने 1930 में दांडी मार्च के माध्यम से इस टैक्स के खिलाफ आंदोलन किया। आज भारत में नमक सस्ता है, लेकिन अमेरिका जैसे देशों में इसकी कीमत कहीं ज्यादा होती है।
कोरियाई बांस नमक इतना महंगा क्यों है?
इसकी जटिल निर्माण प्रक्रिया और लंबी समय इसकी कीमत को बढ़ाते हैं।
इसमें बांस के प्राकृतिक खनिज समाहित होते हैं, जो इसे औषधीय गुणों से भरपूर बनाते हैं।
यह पारंपरिक कोरियाई चिकित्सा में भी उपयोग किया जाता है, जिससे इसकी मांग और भी बढ़ जाती है।
कोरियाई बांस नमक के 250 ग्राम पैक की कीमत 7500 रुपये (लगभग 100 अमेरिकी डॉलर) तक हो सकती है। इसे प्रीमियम खाद्य उत्पादों और हर्बल चिकित्सा में इस्तेमाल किया जाता है।