स्ट्राइक मनी एनालिटिक्स एंड इंडियाचार्ट्स के फाउंडर रोहित श्रीवास्तव ने मनीकंट्रोल को दिए गए एक इंटरव्यू में कहा है कि जनवरी का प्रभाव शेयर बाजार के लिए एक मौसमी प्रभाव है। हर साल हमें इस अवधि के दौरान विराम या पुलबैक देखने को मिलता है। इसलिए 2024 में भी इसकी उम्मीद करना गलत नहीं होगा। इस बातचीत में उन्होंने आगे कहा कि रोहित मोमेंटम इंडिकेटर (आरएमआई) ने दो सप्ताह पहले साप्ताहिक चार्ट पर एक बुलिश क्रॉसओवर दिया था जिससे एक नए मोमेंटम साइकिल की शुरुआत हुई थी। अब आने वाले हफ्तों में एफएमसीजी शेयरों में तेजी देखने को मिल सकती है। उनका कहना है कि एफएमसीजी इंडेक्स में हमें आगे 1,000 अंक की बढ़ोतरी मुश्किल नहीं लग रही है।
चालू महीने में मेटल सेक्टर में जोरदार तेजी के बाद, इक्विटी बाजारों में लगभग तीन दशकों के अनुभव रखने वाले श्रीवास्तव का कहना है कि मेटल सेक्टर में लंबे समय से ब्रेकआउट की उम्मीद बनी हुई थी। उनका मानना है कि आने वाले महीनों में मेटल शेयरों का प्रदर्शन अच्छा रहना चाहिए।
बाजार पर बात करते हुए उन्होंने आगे कहा कि इसमें अभी हमें और तेजी देखने को मिलेगी। लेकिन हमें यह बात ध्यान में रखनी चाहिए कि किसी बुल रन में बाजार अक्सर थम कर आगे बढ़ने के लिए नई सांस भरता है। ऐसे में हमें बाजार में बीच-बीच में आने वाले ठहराव के लिए तैयार रहना चाहिए। मार्च 2020 में कोविड के निचले स्तर के बाद से भारत में तेजी का दौर जारी है और यह सिलसिला अभी खत्म नहीं हुआ है। अगर ग्लोबल स्तर पर दिख रही मुश्किलें कम होती हैं तो बाजार की यह तेजी निश्चित रूप से कई सालों तक चल सकती है। अगर ग्लोबल चिंताओं तो छोड़ दें तो सब कुछ भारत के पक्ष में हैं।
क्या चार्ट आपको बता रहे हैं कि बैंक निफ्टी अगले साल 55,000 तक पहुंच सकता है?
इस सवाल के जवाब में रोहित ने कहा हां, यह संभव है कि बैंक निफ्टी अंततः 55,000 तक पहुंच जाएं। लेकिन तुरंत ऐसा नहीं होगा। इसके लिए कुछ बाधाओं का भी सामना करना पड़ेगा। बैंक निफ्टी के लिए 49,500 पर एक बाधा हो सकती है। वहीं इसके लिए 48,000 एक अहम सपोर्ट लेवल का काम करेगा।
क्या आपको उम्मीद है कि 2024 में निफ्टी आईटी नई ऊंचाई पर पहुंच जाएगा? क्या आप अभी टेक शेयरों में निवेश करने के पक्ष में हैं?
इस सवाल के जवाब में रोहित ने कहा कि लंबे इंतजार के बाद आईटी में बढ़त देखने को मिल रही है। लेकिन लार्ज-कैप आईटी अभी भी मिड-कैप आईटी से कमजोर प्रदर्शन कर सकते हैं। ऐसे में आईटी शेयरों का एक्सपोजर सीमित और चुनिंदा क्वालिटी स्टॉक्स में ही होना चाहिए। सभी आईटी शेयरों से शानदार प्रदर्शन की उम्मीद न करें। भारतीय आईटी शेयरों की तुलना में बेहतर अल्फा की संभावना वाले दूसरे सेक्टर भी दिख रहे हैं।
फंडामेंटल एक्सपर्ट्स का मानना है कि अगले साल मिड-कैप और स्मॉल-कैप की तुलना में लार्ज-कैप ज्यादा तेजी दिखाएंगे। आपकी इस पर क्या राय है?
इस पर बात करते हुए रोहित ने कहा कि लार्ज-कैप और मिड-कैप के बीच शॉर्ट टर्म बढ़त को लंबी अवधि के लिए किए जाने वाले निवेश पर लागू नहीं किया जाना चाहिए। मिड-कैप ने सबसे पहले इक्विटी में तेजी लायी। लार्ज-कैप अब तेजी पकड़ रहे हैं क्योंकि लार्ज-कैप में बड़ा निवेश रखने वाले एफआईआई अब वापसी कर रहे हैं। इसका मतलब यह नहीं है कि मिडकैप लंबी अवधि में अच्छा प्रदर्शन नहीं करेंगे।
शॉर्ट टर्म के नजरिए से देखें तो मिडकैप इंडेक्स काफी भाग चुके है। ऐसे में इनमें कुछ गिरावट हो सकती है। लेकिन अंततः तेजी के बाजार में वे बेहतर प्रदर्शन करेंगे।
क्या आपको लगता है कि चालू कैलेंडर वर्ष के आखिरी दो महीनों में तेजी के बाद जनवरी में ऑटो सेक्टर ठंडा पड़ता दिखेगा?
इस पर बात करते हुए रोहित ने कहा कि जनवरी इफेक्ट शेयर बाजार के लिए एक मौसमी प्रभाव है और हर साल हमें इस अवधि के दौरान विराम या पुलबैक देखने मिलता है। इसलिए इस वर्ष भी ऐसी ही उम्मीद करना गलत नहीं होगा। ऐसे में जनवरी का प्रभाव सिर्फ ऑटो सेक्टर पर ही नहीं बल्कि पूरे बाजार पर पड़ता दिखेगा।
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