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ट्रंप के टैरिफ से इस सेक्टर को मिल सकती है राहत, डिक्सन टेक समेत इन शेयरों पर 15 अप्रैल को रहेगी नजर

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर पर लगाए टैरिफ की समीक्षा करने की बात कही है, जिसका असर भारतीय शेयर बाजारों पर भी देखने को मिल सकता है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि इसके चलते डिक्सन टेक्नोलॉजीज, केन्स टेक, PG इलेक्ट्रोप्लास्ट, अंबर एंटरप्राइजेज, सिरमा SGS जैसी घरेलू इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों के शेयर कल 15 अप्रैल को सुर्खियों में रह सकते हैं।

अपडेटेड Apr 14, 2025 पर 5:09 PM
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Dixon Tech Shares: शुक्रवार को डिक्सन टेक्नोलॉजीज के शेयर 7% चढ़कर 14,260 रुपये पर बंद हुए

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर पर लगाए टैरिफ की समीक्षा करने की बात कही है, जिसका असर भारतीय शेयर बाजारों पर भी देखने को मिल सकता है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि इसके चलते डिक्सन टेक्नोलॉजीज, केन्स टेक, PG इलेक्ट्रोप्लास्ट, अंबर एंटरप्राइजेज, सिरमा SGS जैसी घरेलू इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों के शेयर कल 15 अप्रैल को सुर्खियों में रह सकते हैं।

ट्रंप का बयान और टैरिफ नीति में बदलाव

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रविवार को एक बयान में कहा कि वह इस हफ्ते सेमीकंडक्टर्स और पूरे इलेक्ट्रॉनिक्स सप्लाई चेन पर टैरिफ की समीक्षा करेंगे। उन्होंने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'ट्रुथ सोशल' पर लिखा, “हम सेमीकंडक्टर्स और पूरी इलेक्ट्रॉनिक्स सप्लाई चेन पर राष्ट्रीय सुरक्षा टैरिफ जांच शुरू कर रहे हैं।”

ट्रंप का यह बयान उस घोषणा के दो दिन बाद आया है, जब उन्होंने चीन से आयात होने वाले कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स पर 125% टैरिफ और ग्लोबल रूप से 10% फ्लैट टैरिफ से कुछ उत्पादों को अस्थायी रूप से छूट देने की घोषणा की थी।


हालांकि रविवार को उन्होंने साफ किया कि ये छूट केवल टैरिफ की अलग कैटेगरी में बदलाव है, और ये उत्पाद जल्द ही सेमीकंडक्टर टैरिफ के तहत आ जाएंगे। यूएस कॉमर्स सेक्रेटरी हावर्ड लटनिक ने भी कहा, "ये उत्पाद रेसिप्रोकल टैरिफ से तो छूट गए हैं, लेकिन अब सेमीकंडक्टर टैरिफ के दायरे में आएंगे, शायद अगले एक-दो महीनों में।"

भारतीय एक्सपोर्टरों को होगा लाभ

इस अस्थायी राहत का सीधा फायदा भारतीय इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनियों को मिलने की उम्मीद है, क्योंकि भारत से अमेरिका को भेजे गए कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स 20% तक सस्ते होंगे, चीन की तुलना में।

ICEA के चेयरमैन पंकज मोहिंद्रू ने बताया, "भारत और वियतनाम दोनों देशों से अमेरिका को भेजे जाने वाले स्मार्टफोन, लैपटॉप और टैबलेट पर कोई टैरिफ नहीं है। वहीं चीन से आने वाले इन उत्पादों पर अभी भी 20% टैरिफ लागू है। इससे भारत और वियतनाम को बड़ा कॉम्पिटिटीव लाभ मिलेगा।"

भारत का बढ़ता इलेक्ट्रॉनिक्स एक्सपोर्ट

भारत का इलेक्ट्रॉनिक्स एक्सपोर्ट्स हाल के सालों में तेजी से बढ़ा है। उदाहरण के तौर पर, एपल इंक ने मार्च 2025 में समाप्त 12 महीनों में भारत में 22 अरब डॉलर के iPhone असेंबल किए, जो पिछले साल की तुलना में 60% अधिक है। यह सप्लाई चेन में चीन की निर्भरता घटने का साफ संकेत है।

शेयरों की चाल

शुक्रवार को डिक्सन टेक्नोलॉजीज के शेयर 7% चढ़कर 14,260 रुपये पर बंद हुए। पीजी इलेक्ट्रोप्लास्ट ने 8% की तेजी दर्ज की और 920 रुपये पर बंद हुआ। बाकी इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनियों के शेयरों में भी 5-10% तक की तेजी देखी गई।

एक्सपर्ट्स की राय

इंडिया इलेक्ट्रॉनिक्स एंड सेमीकंडक्टर एसोसिएशन (IESA) के अध्यक्ष अशोक चंदक ने कहा, "ग्लोबल व्यापार तनाव और टैरिफ अनिश्चितता के कारण इलेक्ट्रॉनिक्स ब्रांड अपने मैन्युफैक्चरिंग नेटवर्क को फैलाना चाहते हैं। यह भारत के लिए एक रणनीतिक अवसर है।" उन्होंने यह भी जोड़ा कि भारत को इस अवसर का लाभ उठाने के लिए लंबी अवधि की कॉम्पिटिटीव क्षमताओं का निर्माण करना होगा।

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