रेगुलेटर्स ने मैनिपुलेटिव ट्रेड स्ट्रेटेजी के इस्तेमाल के लिए Jane Street के साथ 10 अन्य फर्मों की भी जांच की थी

रेगुलेटर्स की जांच इन फर्मों के कुछ फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (F&O) ट्रेड्स से जुड़ी थी। ये ट्रेड्स खासकर निफ्टी ऑप्शंस से जुड़े थे। कॉन्ट्रैक्ट्स की एक्सपायरी से ठीक पहले एफएंडओ मार्केट में काफी ज्यादा उतार-चढ़ाव देखा गया था। इस वजह से रेगुलेटर्स ने कुछ बड़े F&O ट्रेडर्स के ट्रेडिंग पैटर्न की जांच शुरू करने का फैसला किया

अपडेटेड Sep 05, 2025 पर 3:54 PM
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स्टॉक डेरिवेटिव्स में मैनिपुलेटिव स्ट्रेटेजी के लिए काफी जटिल एल्गोरिद्म का इस्तेमाल होता है।

स्टॉक डेरिवेटिव्स में मैनिपुलेटिव स्ट्रेटेजी के कथित इस्तेमाल को लेकर न सिर्फ जेन स्ट्रीट की जांच हुई है बल्कि रेगुलेटर्स ने कम से कम और 10 हाई-फ्रीक्वेंसी ट्रेडर्स (एचएफटी) की जांच की है। इनमें मिलेनियम मैनेजटमेंट, जंप ट्रेडिंग, ग्रेविटोन और अल्फाग्रेप शामिल हैं। इस मामले की जानकारी रखने वाले लोगों ने इस बारे में बताया। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) ने जेन स्ट्रीट के खिलाफ जांच के साथ-साथ इन ट्रेडर्स की जांच की। एनएसई ने जांच की अपनी रिपोर्ट इस साल जनवरी-फरवरी में सेबी को सौंप दी थी। ध्यान देने वाली बात है कि सेबी ने मैनिपुलेटिव ट्रेड स्ट्रेटेजी का इस्तेमाल करने पर जेन स्ट्रीट को 4,840 करोड़ रुपये एस्क्रो अकाउंट में डिपॉजिट करने को कहा था।

10 अन्य फर्मों ने भी जेन स्ट्रीट जैसी स्ट्रेटेजी का इस्तेमाल किया था

रेगुलेटर्स की जांच इन फर्मों के कुछ फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (F&O) ट्रेड्स से जुड़ी थी। ये ट्रेड्स खासकर निफ्टी ऑप्शंस से जुड़े थे। कॉन्ट्रैक्ट्स की एक्सपायरी से ठीक पहले एफएंडओ मार्केट में काफी ज्यादा उतार-चढ़ाव देखा गया था। इस वजह से रेगुलेटर्स ने कुछ बड़े F&O ट्रेडर्स के ट्रेडिंग पैटर्न की जांच शुरू करने का फैसला किया। यह देखा गया कि सभी 10-12 फर्मों ने उसी ट्रेडिंग स्ट्रेटेजी का इस्तेमाल किया था, जिसका इस्तेमाल Jane Street ने किया था। मामले की जानकारी रखने वाले एक व्यक्ति ने यह जानकारी दी।


एनएसई ने कम से कम दो ट्रेडिंग फर्मों को वार्निंग लेटर्स भेजे थे

इनमें से कम से कम दो एचएफटी फर्मों को एनएसई का वार्निंग लेटर्स मिले थे। यह चेतावनी कुछ ट्रेडिंग स्ट्रेटेजी से जुड़ी थी, जिसका इस्तेमाल इन एचएफटी फर्मों ने किया था। मनीकंट्रोल इस बात की जांच नहीं कर पाया है कि रेगुलेटर्स ने इन फर्मों के खिलाफ किसी तरह का एक्शन लिया है या नहीं। मामले की जानकारी रखने वाले व्यक्ति ने बताया कि जेन स्ट्रीट की तरह दूसरी फर्मों के खिलाफ हुई जांच तुरंत सार्वजनिक नहीं हो पाई।

सेबी ने जेन स्ट्रीट के खिलाफ अंतरिम आदेश जारी किया था

सेबी ने जेन स्ट्रीट मामले में अंतरिम आदेश जारी किया था। तब व्यापक जांच की जगह शुरुआती सबूतों पर रेगुलेटर ने भरोसा किया था। स्टॉक डेरिवेटिव्स में जेन स्ट्रीट की काफी ज्यादा पोजीशन को देखते हुए सेबी को मामले में हस्तक्षेप का फैसला लेना पड़ा। इस मामले के बारे में जानकारी देने वाले व्यक्ति ने बताया कि सेबी की जांच पूरी होने में 1 से 3 साल तक का समय लगता है। NSE मार्केट पार्टिसिपेंट्स के लिए पहले लेवल का रेगुलेटर है। मार्केट पार्टिसिपेंट्स में ट्रेडिंग मेंबर्स और ब्रोकर्स आते हैं। स्टॉक एक्सचेजों को नियमों का उल्लंघन करने वाले ट्रेडिंग मेंबर्स की ट्रेडिंग पर रोक लगाने और पेनाल्टी लगाने तक का अधिकार है।

मैनिपुलेटिव स्ट्रेटेजी में एल्गोरिद्म का इस्तेमाल होता है

स्टॉक डेरिवेटिव्स में मैनिपुलेटिव स्ट्रेटेजी के लिए काफी जटिल एल्गोरिद्म का इस्तेमाल होता है। इसकी मदद से ट्रेड की स्ट्रेटेजी बनाई जाती है और ट्रेड को एग्जिक्यूट करने तक में एल्गोरिद्म का का इस्तेमाल होता है। घरेलू ट्रेडिंग फर्मों को इंडियन मार्केट में एल्गो का इस्तेमाल करने से पहले एप्रूवल लेना पड़ता है। सेबी के नियम के मुताबिक, पहले से एप्रूवल हासिल किए बगैर घरेलू ट्रेडिंग फर्म एल्गो का इस्तेमाल ट्रेडिंग में नहीं कर सकती। लेकिन, विदेशी ट्रेडिंग फर्मों के मामले में यह नियम प्रभावी नहीं है, क्योंकि एल्गो को तैयार करने और उसका इस्तेमाल करने का काम इंडिया के बाहर से होता है।

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जेन स्ट्रीट ने सैट का दरवाजा खटखटाया है

ध्यान देने वाली बात है कि जेन स्ट्रीट ने सेबी के खिलाफ 3 सितंबर को सिक्योरिटीज एपेलेट ट्राइब्यूनल (SAT) का दरवाजा खटखटाया है। उसने सेबी की जांच के डॉक्युमेंट्स उपलब्ध कराए जाने की मांग की है। जेन स्ट्रेट के मामले में सेबी के रुख में बदलाव देखने को मिला है। शुरुआत में सेबी के की सर्विलांस यूनिट ने एनएसई की चेतावनी पर किसी तरह की कार्रवाई नहीं की। इस मामले में सेबी, एनएसई, मिलेनियम मैनेजमेंट, जंप सिक्योरिटीज, अल्फा ग्रेप और ग्रेविटो को भेजे ईमेल के जवाब नहीं मिले।

Rakesh Ranjan

Rakesh Ranjan

First Published: Sep 05, 2025 3:47 PM

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