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SEBI Board Meeting: अब बड़ी कंपनियां छोटे साइज के आईपीओ पेश कर सकेंगी, सेबी के बोर्ड ने लिया बड़ा फैसला

सेबी के चेयरमैन तुहिन कांत पांडेय ने 12 सितंबर को बोर्ड की मीटिंग के बाद आज हुए अहम फैसलों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि हम मौजूदा 4,000 करोड़ लेवल की सीमा के अलावा चार अतिरिक्त कैटेगरी पेश कर रहे हैं

MoneyControl Newsअपडेटेड Sep 12, 2025 पर 8:16 PM
SEBI Board Meeting: अब बड़ी कंपनियां छोटे साइज के आईपीओ पेश कर सकेंगी, सेबी के बोर्ड ने लिया बड़ा फैसला
सेबी के बोर्ड की बैठक 12 सितंबर को हुई, जिसमें कई अहम फैसले हुए।

सेबी के बोर्ड ने 12 सितंबर को हुई बैठक में आईपीओ के मामले में बड़ी कंपनियों को राहत देने का फैसला लिया। अब बड़ी कंपनियां अपने आईपीओ में अपने पेड-अप कैपिटल का मिनिमम 2.5 शेयर बेच सकेंगी। अभी लिस्टिंग के बाद 5 लाख करोड़ रुपये वाली कंपनियों को आईपीओ में कम से कम अपने पेड-अप कैपिटल का 5 फीसदी शेयर बेचने पड़ते हैं। इस नए नियम से मार्केट में बड़ी कंपनियां भी छोटे साइज के आईपीओ पेश कर सकेंगी।

एमपीएस नियम के पालन के लिए 3 साल की जगह 5 साल मिलेंग

जिन कंपनियों का मार्केट कैपिटलाइजेशन 50,000 करोड़ से एक लाख करोड़ रुपये (लिस्टिंग के बाद) होगा, उन्हें 25 फीसदी के मिनिमम पब्लिक शेयरहोल्डिंग (MPS) नियम के पालन के लिए 5 साल का समय मिलेगा। अभी ऐसी कंपनियों को इस नियम के पालन के लिए सिर्फ 3 साल का समय मिलता था। ऐसी कंपनियां जिनका मार्केट कैपिटलाइजेशन लिस्टिंग के बाद 1 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा होगा, उन्हें मिनिमम पब्लिक शेयरहोल्डिंग के नियम के पालन के लिए 10 साल मिलेगा।

आईपीओ के नियमों के पालन के लिए कंपनियों की चार नई कैटेगरी

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