SEBI Work Culture: बाजार नियामक सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज ऑफ इंडिया (SEBI) में काम करने का माहौल यानी वर्क कल्चर अच्छा नहीं है। यह आरोप सेबी के अधिकारियों ने लगाया है। एक मीडिया रिपोर्ट में इसका खुलासा हुआ है। सेबी के अधिकारियों ने इसकी शिकायत वित्त मंत्रालय को भेजे गए पत्र में कही। सेबी के अधिकारियों की शिकायत है कि बैठकों में चिल्लाना, डांटना और सार्वजनिक तौर पर अपमान करना आम बात हो चुकी है। इस पर सेबी ने अपनी प्रतिक्रिया भी दी है। सेबी का कहना है कि एंप्लॉयीज की किसी दिक्कत का समाधान एक चलती रहने वाली प्रक्रिया है यानी एंप्लॉयीज को किसी बात पर दिक्कत होती है तो सेबी उसका समाधान करने की कोशिश करती है। हालांकि मनीकंट्रोल इसकी सत्यता की पुष्टि नहीं कर सकता है।
'ग्रीवांस ऑफ सेबी ऑफिसर्स- अ कॉल फॉर रेस्पेक्ट' में सेबी के अधिकारियों का कहना है कि एंप्लॉयीज के प्रति सेबी प्रमुख माधबी पुरी बुच की भाषा काफी खराब है। उनका कहना है कि माधबी हर मिनट की गतिविधियों पर निगरानी रखती हैं और उन्होंने ऐसे-ऐसे टारगेट रखे हैं जो असंभव हैं और साथ ही इसमें बदलाव भी होते रहते हैं। इसके चलते एंप्लॉयीज की मानसिक सेहत पर बुरा असर पड़ा है और वर्क-लाइफ बैलेंस बुरी तरह प्रभावित हुआ है। सेबी में करीब 1 हजार ग्रेड ए और इसके ऊपर के यानी असिस्टेंट मैनेजर और इससे ऊपर के अधिकारी हैं। इनमें से आधे ने वित्त मंत्रालय को भेजे गए लेटर पर साइन किया है। अधिकारियों का कहना है कि उन्होंने वित्त मंत्रालय को तब पत्र लिखा है, जब मैनेजनेंट ने उनकी बात नहीं सुनी।
सेबी के अधिकारियों ने ऐसे समय में वित्त मंत्रालय के पास माधबी पुरी बुच की शिकायत की है, जब सेबी की प्रमुख माधबी पुरी बुच हितों के टकराव के आरोप से जूझ रही हैं। यह मामला अमेरिकी शॉर्ट सेलर हिंडनबर्ग रिसर्च की तरफ अदाणी ग्रुप पर लगाए गए आरोपों से जुड़ा है। इसे लेकर राजनीतिक गर्मी भी बढ़ चुकी है और कांग्रेस ने सेबी की चेयरपर्सन को आईसीआईसीआई बैंक की तरफ से दिए गए मुआवजे पर सवाल उठाया था। अब वह एक और आरोप का सामना कर रही हैं और इस बार सेबी के एंप्लॉयीज ने उनके खिलाफ मंत्रालय से शिकायत की है। सेबी का कहना है कि बदलाव किएजा चुके हैं। ऑफिस के माहौल को लेकर रिव्यू मीटिंग्स के फॉर्मैट में बदलाव किया गया है और ऐसे में बैठक से जुड़ा जो इश्यू था, वह सुलझ चुका है। सेबी ने कहा कि एंप्लॉयीज बॉडीज को इसकी जानकारी 3 सितंबर को ही ईमेल के जरिए दे दी गई है।