Market trend : बाजार में मार्जिन ट्रेडिंग का जोर पकड़ता जा रहा है। बाजार में मार्जिन ट्रेडिंग 1 लाख करोड़ के करीब पहुंच गई है। किन शेयरों में मार्जिन ट्रेडिंग का सबसे ज्यादा रुझान है ये बताते हुए CNBC-TV18 के होर्माज़ फ़टाकिया (Hormaz Fatakia) ने कहा कि मार्जिन ट्रेडिंग में जोरदार तेजी आई है। साल 2020 के अंत तक 7,500 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई थी। वहीं,साल 2025 में अब तक 94,780 करोड़ रुपए के मार्जिन ट्रेडिंग हुई है। यानी 2020 से अब तक इसमें 13 गुने की बढ़त हुई है।
साल 2020 में 49 करोड़ शेयरों में 7,479 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई। वहीं, साल 2021 में 150 करोड़ शेयरों में 23,737 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई। साल 2022 में 171 करोड़ शेयरों में 27,972 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई। साल 2023 में 302 करोड़ शेयरों में 49,690 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई। वहीं, 2025 में 480 करोड़ शेयरों में 94,780 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई।
2025 में HAL में 1,513 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई है। वहीं, जियोफाइनेंशियल में 1,257 करोड़ रुपए की, रिलायंस इंडस्ट्रीज में 1,227 करोड़ रुपए की, TCS में 1,206 करोड़ रुपए की, टाटा मोटर्स में 1,196 करोड़ रुपए की, मझगांव डॉक में 1,021 करोड़ रुपए की, BEL में 909 करोड़ रुपए की, नजारा टेक में 861 करोड़ रुपए की, CDSL में 849 करोड़ रुपए की और वेदांता में 780 करोड़ रुपए की मार्जिन ट्रेडिंग हुई है।
कैसे काम करती है मार्जिन ट्रेडिंग
यह निवेशकों को स्टॉक ब्रोकर से मिलने वाली सर्विस है। ये सर्विस मौजूदा कैपिटल के मुकाबले ज्यादा शेयर खरीदने का मौका देती है। मार्जिन ट्रेडिंग के तहत अगर आपको रुपए का 1,000 का शेयर खरीदना है तो 200 तुरंत चुकाने होंगे। शेष 800 रुपए ब्रोकर की तरफ से मिलेंगे।
मार्जिन ट्रेडिंग से जुड़े रिस्क
मार्जिन ट्रेडिंग से जुड़े रिस्क की बात करें तो शेयर गिर सकता है। अतिरिक्त मार्जिन नहीं होने पर ब्रोकर शेयर बेच सकता है। मार्जिन ट्रिगर होने पर volatility संभव है और घाटा बढ़ सकता है।
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