Share Market Crash: शेयर बाजार में इन 5 कारणों से बड़ी गिरावट, सेंसेक्स 1200 अंक नीचे, सभी सेक्टर डूबे
Share Market Crash: भारतीय शेयर बाजारों में आज 6 जनवरी को तेज गिरावट देखने को मिली। बीएसई सेंसेक्स दिन के कारोबार में 1290 अंक टूट गया। वहीं निफ्टी 400 अंकों का गोता लगातार 23,600 पर पहुंच गया। देश में HMPV (ह्यूमन मेटा-न्यूमो वायरस) मामले मिलने की खबर और आगामी तिमाही नतीजों के चलते निवेशकों की ओर से जमकर मुनाफावसूली देखने को मिली। शेयर बाजार में आज की गिरावट के पीछे ये 5 कारण अहम रहे-
Share Market Crash: चीन में फैले नए वायरस HMPV का भारत में अब तक दो केस मिलने की पुष्टि हो चुकी है
Share Market Crash: भारतीय शेयर बाजारों में आज 6 जनवरी को तेज गिरावट देखने को मिली। बीएसई सेंसेक्स दिन के कारोबार में 1290 अंक टूट गया। वहीं निफ्टी 400 अंकों का गोता लगातार 23,600 पर पहुंच गया। देश में HMPV (ह्यूमन मेटा-न्यूमो वायरस) मामले मिलने की खबर और आगामी तिमाही नतीजों के चलते निवेशकों की ओर से जमकर मुनाफावसूली देखने को मिली। शेयर बाजार निवेशकों के बीच डर का संकेत देने वाला इंडेक्स, इंडिया VIX आज 13 फीसदी उछल गया। सभी सेक्टोरल इंडेक्स भी लाल निशान में कारोबार कर रहे थे। निफ्टी निफ्टी मेटल इंडेक्स 2.66% तक गिर गया। वहीं निफ्टी PSU बैंक इंडेक्स 3.35% और निफ्टी ऑटो इंडेक्स 1.68% नीचे आ गया।
दोपहर के कारोबार में, BSE सेंसेक्स 1,290 से अधिक अंकों की गिरावट के साथ 77,920.91 के इंट्राडे निचले स्तर पर आ गया, जबकि निफ्टी 403.25 अंक गिरकर 23,601.50 के स्तर पर पहुंच गया।
शेयर बाजार में आज की गिरावट के पीछे ये 5 कारण अहम रहे-
1. भारत में HMPV वायरस के 3 मामले सामने आए
चीन में फैले कोरोना जैसे नए वायरस HMPV का भारत में अब तक दो केस मिलने की पुष्टि हो चुकी है। शेयर बाजार के सामने पहले से मौजूद तमाम अनिश्चतताओं के बीच इस नए वायरस की खबर ने निवेशकों को चौंका दिया। कर्नाटक में दो बच्चों में यह वायरस पाया गया। हालांकि, स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि दोनों बच्चे रिकवरी की ओर हैं और घबराने की कोई जरूरत नहीं है।
मंत्रालय ने इस बात पर जोर दिया कि HMPV का संक्रमण पहले से ही भारत सहित कई देशों में फैल रहा है और विभिन्न देशों में इससे संबंधित सांस से जुड़ी बीमारियों के मामले सामने आए हैं। मंत्रालय ने आश्वासन दिया कि चिंता का कोई कारण नहीं है। उसने कहा कि मंत्रालय ने कहा कि देश भर में हाल में की गई तैयारियों से पता चलता है कि भारत सांस संबंधी बीमारियों के मामले में किसी भी संभावित बढ़ोतरी से निपटने के लिए तैयार है और जरूरत पड़ने पर सार्वजनिक स्वास्थ्य उपाय तुरंत लागू किए जा सकते हैं।
2. तीसरी तिमाही के नतीजों का इंतजार
दिसंबर तिमाही के नतीजों से पहले निवेशक सतर्क हैं। इसके साथ ही, केंद्रीय बजट 2025-26 और भारतीय रिजर्व बैंक की मॉनिटरी पॉलिसी कमेटी (MPC) की आगामी बैठक को लेकर भी अनिश्चितता बनी हुई है। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के ही रिसर्च हेड, विनोद नायर ने कहा कि तीसरी तिमाही के नतीजों से कोई नया संकेत मिलने तक बाजार दिशाहीन बने रहेंगे।
3. कमजोर ग्लोबल संकेत
शेयर बाजार में आज की गिरावट के पीछे कमजोर ग्लोबल संकेत भी एक अहम वजह रहा। एशियाई बाजार जहां आज के कारोबार के दौरान 1.4 फीसदी तक टूट गए। वहीं अमेरिकी डॉलर में मजबूती, ऊंची बॉन्ड यील्ड और क्रूड ऑयल की कीमतों में उछाल ने ग्लोबल बाजारों पर दबाव बनाया। क्रूड ऑयल के दाम इस समय अक्टूबर 2024 के बाद के अपने सबसे ऊंचे स्तर पर हैं।
जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के चीफ इनवेस्टमेंट स्ट्रैटजिस्ट, डॉ. वी के विजयकुमार ने बताया, "डॉलर इंडेक्स इस समय 109 पर है और 10 साल के अमेरिकी बॉन्ड पर यील्ड 4.62% है। इसके चलते विदेशी निवेशक भारत से बिकवाली कर रहे हैं। इन कारणों के स्थिर होने तक यह बिकवाली जारी रखने की उम्मीद है।"
4. विदेशी निवेशकों की बिकवाली
विदेशी निवेशकों ने लगातार भारतीय बाजार से पैसे निकाल रहे हैं। जनवरी 2025 में अब तक विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (FPI) ने 4,285 करोड़ रुपये की बिकवाली की है, जिससे बाजार पर दबाव बना हुआ है।
5, कमजोर टेक्निकल संकेत
जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के चीफ मार्केटिंग स्ट्रैटजिस्ट, आनंद जेम्स ने बताया कि टेक्निकल चार्ट पर निफ्टी के लिए 23,960 से 23,860 का जोन एक अहम सपोर्ट लेवल है। अगर निफ्टी 23,860 के नीचे चला जाता है, तो यह फिर 23,750 तक टूट सकता है।
डिस्क्लेमरःMoneycontrol पर एक्सपर्ट्स/ब्रोकरेज फर्म्स की ओर से दिए जाने वाले विचार और निवेश सलाह उनके अपने होते हैं, न कि वेबसाइट और उसके मैनेजमेंट के। Moneycontrol यूजर्स को सलाह देता है कि वह कोई भी निवेश निर्णय लेने के पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट से सलाह लें।