हर कोई चाहता है कि उसका बिजनेस लगातार चलता रहे और उसकी मांग कभी कम न हो। ऐसे में आटे का बिजनेस एक सुरक्षित और भरोसेमंद विकल्प बन सकता है। इसे शुरू करने के लिए लगभग ₹2.50 लाख का निवेश पर्याप्त है। भारत के उत्तर, मध्य और पूर्वी राज्यों में रोटी रोजना के खानपान का जरूरी हिस्सा है, जिससे गेहूं के आटे की खपत हमेशा बनी रहती है। यही कारण है कि इस कारोबार में मंदी आने की संभावना बेहद कम है। अगर आप सही मशीनरी, साफ-सुथरी प्रोसेसिंग और आकर्षक पैकिंग का इस्तेमाल करें, तो ये बिजनेस जल्दी ही स्थायी कमाई का जरिया बन सकता है।
गुणवत्तापूर्ण आटे की हमेशा डिमांड रहती है और ग्राहक अच्छे ब्रांड को पसंद करते हैं। सही प्लानिंग के साथ आप कम लागत में इस बिजनेस की मजबूत शुरुआत कर सकते हैं और धीरे-धीरे इसे बड़े स्तर पर ले जा सकते हैं।
गेहूं की उपलब्धता ग्रामीण इलाकों और उनके आसपास आसानी से हो जाती है। लोग हमेशा शुद्ध और गुणवत्तापूर्ण आटा पसंद करते हैं, जिससे इस कारोबार का बाजार लगातार मजबूत बना रहता है।
बिजनेस शुरू करने के जरूरी चरण
सबसे पहले गेहूं की धुलाई और सुखाने की प्रक्रिया पूरी करें। इसके बाद सुखाए हुए गेहूं को मशीन से पीसकर आटा तैयार करें। अंत में इसे आकर्षक पैकिंग में भरें, ताकि ग्राहक तुरंत आकर्षित हों और ब्रांड पर भरोसा करें।
इस बिजनेस में मशीनरी के लिए लगभग ₹1.25 लाख की जरूरत होगी, जिसमें Pulvariser, डबल स्टेज Pulvariser, रोस्टर, सीलिंग मशीन, वजन तराजू, गैस कनेक्शन और बर्तन शामिल हैं।
वर्किंग कैपिटल के रूप में करीब ₹1 लाख लगेंगे, जिसमें कच्चा माल, वेतन, बिजली और गैस का खर्च शामिल होगा।
इसके अलावा, बिल्डिंग पर ₹25,000 तक खर्च आ सकता है। इस तरह कुल निवेश ₹2.50 लाख के आसपास होगा।
मौजूदा आंकड़ों के मुताबीक, इस बिजनेस से हर महीने करीब ₹1.15 लाख की बिक्री हो सकती है। वहीं, मासिक खर्च करीब ₹1.05 लाख तक रहेगा। यानी आपको हर महीने लगभग ₹10,000 या उससे ज्यादा का शुद्ध मुनाफा मिल सकता है, जो बिजनेस बढ़ने के साथ और बढ़ेगा।
क्यों है आटे का बिजनेस फायदेमंद
रोटी भारतीय खानपान का अहम हिस्सा है, इसलिए इस बिजनेस की मांग हमेशा बनी रहती है। छोटे निवेश से भी इसकी शुरुआत की जा सकती है और क्वालिटी व पैकिंग पर ध्यान देकर इसे तेजी से बढ़ाया जा सकता है। सही मार्केटिंग के साथ आप इसे एक भरोसेमंद ब्रांड में बदल सकते हैं।