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Gold Price Today: अंतरराष्ट्रीय बाजार में गोल्ड में उतार-चढ़ाव का भारत में इसकी कीमतों पर कितना असर पड़ता है?

Gold Price Today: भारत अपनी गोल्ड की जरूरत के बड़े हिस्से का आयात करता है। इसका मतलब है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में गोल्ड की कीमतों में उतार-चढ़ाव का सीधा असर इंडिया में इसकी कीमतों पर पड़ता है। लेकिन, इंडिया में गोल्ड की कीमतों पर कुछ दूसरी चीजों का भी असर पड़ता है

अपडेटेड Oct 16, 2025 पर 2:49 PM
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गोल्ड की कीमतों में 16 अक्टूबर को भी तेजी का सिलसिला जारी रहा। देश और विदेश दोनों में गोल्ड में तेजी देखने को मिली।

गोल्ड एक ग्लोबल कमोडिटी है, जिसकी खरीद और बिक्री दुनियाभर में होती है। इसकी ग्लोबल कीमतों पर डिमांड और सप्लाई का काफी असर पड़ता है। लंदन और न्यूयॉर्क दुनिया में गोल्ड के सबसे बड़े ट्रेडिंग सेंटर हैं। इंडिया में गोल्ड का उत्पादन काफी कम होता है। भारत अपनी गोल्ड की जरूरत के बड़े हिस्से का आयात करता है। इसका मतलब है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में गोल्ड की कीमतों में उतार-चढ़ाव का सीधा असर इंडिया में इसकी कीमतों पर पड़ता है। सवाल है कि असर कितना पड़ता है?

इंडिया में गोल्ड की कीमतों पर दूसरी चीजों का भी असर

एक्सपर्ट्स का कहना है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में Gold की कीमतों में उतार-चढ़ाव का असर भारत में भी इसकी कीमतों पर पड़ता है। लेकिन, इसमें थोड़ा समय लगता है। इसकी वजह यह है कि इंडिया में गोल्ड की कीमतों पर इंपोर्ट ड्यूटी, टैक्स और डॉलर के मुकाबले रुपये की कीमत का भी असर पड़ता है। डॉलर में कमजोरी से रुपया सहित दूसरी करेंसी में गोल्ड खरीदना सस्ता हो जाता है। इसी तरह डॉलर के मजबूत होने पर दूसरी करेंसी में गोल्ड खरीदना महंगा हो जाता है।


दुनिया में अनिश्चितता बढ़ने पर गोल्ड की चमक बढ़ती है

दुनिया में अनिश्चितता या इनफ्लेशन बढ़ने पर गोल्ड की कीमतें बढ़ती हैं। इसकी वजह यह है कि गोल्ड का इस्तेमाल हेजिंग के लिए होता है। इसका मतलब है कि यह निवेश के लिए सबसे सुरक्षित एसेट है। इकोनॉमी में स्थिरता और इंटरेस्ट रेट बढ़ने पर गोल्ड की कीमतों में गिरावट देखने को मिलती है, क्योंकि इनवेस्टर्स ज्यादा यील्ड वाले इंस्ट्रूमेंट्स में निवेश करने लगते हैं। इस साल गोल्ड की कीमतों में आई तूफानी तेजी में जियोपॉलिटिकल टेंशन और अमेरिकी की टैरिफ पॉलिसी का बड़ा हाथ है।

भारत और अंतरराष्ट्रीय बाजार में गोल्ड की यूनिट अलग-अलग

इंडिया गोल्ड की अपनी 80 फीसदी जरूरत इंपोर्ट से पूरी करता है। इस वजह से इंडिया में गोल्ड की कीमतों पर इसकी अंतरराष्ट्रीय कीमतों का असर पड़ता है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि चूंकि इंडिया दुनिया में गोल्ड का सबसे ज्यादा आयात करने वाले देशों में शामिल है जिससे इंडिया में गोल्ड की डिमांड का असर गोल्ड की अंतरराष्ट्रीय कीमतों पर पड़ता है। लेकिन, भारत में जहां गोल्ड की कीमत प्रति ग्राम में होती है, वही अंतरराष्ट्रीय बाजार में यह औंस में होती है। एक औंस करीब 28 ग्राम का होता है। इसलिए भी गोल्ड की अंतरराष्ट्रीय कीमत और घरेलू कीमत के बीच काफी फर्क दिखता है।

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2025 में 61 फीसदी चढ़ चुकी है सोने की कीमत

गोल्ड की कीमतों में 16 अक्टूबर को भी तेजी का सिलसिला जारी रहा। देश और विदेश दोनों में गोल्ड में तेजी देखने को मिली। स्पॉट गोल्ड 0.6 फीसदी चढ़कर 4,233.39 डॉलर प्रति औंस पर पहुंच गया। यह गोल्ड में तेजी का लगातार पांचवां दिन है। इंडिया में एमसीएक्स में गोल्ड फ्यूचर्स 2:29 बजे 800 रुपये यानी 0.63 फीसदी के उछाल के साथ 1,28,010 रुपये प्रति 10 ग्राम चल रहा था। 2025 में गोल्ड अब तक 61 फीसदी चढ़ चुका है।

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