अब वे दिन बीत चुके हैं जब ज्यादातर लोगों के लिए इनकम टैक्स पेमेंट चालान (tax payment challan) पाना बहुत मुश्किल काम होता था। इसकी वजह यह थी कि इसका प्रोसेस बहुत लंबा था और इसमें समय भी बहुत लग जाता था। अब इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने एक ऑनलाइन चालान करेक्शन सिस्टम शुरू किया है। यह टैक्स चुकाने वाले लोगों के लिए काफी मददगार और नई सुविधा है। पहले अगर टैक्स पेमेंट में किसी तरह की गलती हो जाती थी तो उसे ठीक करने (Correction) में काफी समय लग जाता था। टैक्सपेयर्स को इंडेमनिटी बॉन्ड्स सहित कई तरह के पेपर्स और फॉर्म्स भी देने पड़ते थे। यह इनकम टैक्स अफसर को यह भरोसा दिलाने के लिए होता था कि गलती अनजाने में हुई है और टैक्सपेयर ने टैक्स पेमेंट का डबल बेनेफिट नहीं लिया है।
इस नए फीचर का नाम 'चालान करेक्शन' है। यह इनकम टैक्स डिपार्टमेंट के ई-फाइलिंग पोर्टल पर मौजूद है। टैक्सपेयर्स ऑनलाइन टैक्स रिटर्न फाइल करने के लिए इसी पोर्टल का इस्तेमाल करते हैं। चालान करेक्शन टैक्सपेयर्स को टैक्स पेमेंट डिटेल देने में हुई गलती को ठीक करने की सुविधा देता है। इसकी मदद से निम्निलिखित गलतियां ठीक की जा सकती हैं:
1. एसेसमेंट ईयर में बदलाव
3. इनकम टैक्स ऑन कंपनीज (0020) और इनकम टैक्स अदर देन कंपनीज (0021) जैसे मेजर हेड्स में बदलाव
अभी यह फीचर 2020-21 के बाद के सालों के टैक्स के लिए उपलब्ध है। इसके तहत सिर्फ ऊपर बताए गए माइनर कोड्स ही मौजूद हैं। किसी दूसरे करेक्शन के लिए आपको पुराने प्रोसिजर का इस्तेमाल करना होगा। आपको पेमेंट के 7 दिन के अंदर बैंक से संपर्क करना होगा या संबंधित ज्यूरिडिक्शन के एसेसमेंट अफसर के पास जाना होगा।
यह बदलाव स्वागतयोग्य है। यह दिखाता है कि इनकम टैक्स डिपार्टमेंट टैक्सपेयर्स के लिए कंप्लायंस को आसान बनाने के लिए टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर रहा है। यह नया चालान करेक्शन फीचर ऐसे मामलों में बहुत उपयोगी है, जिनमें टैक्सपेयर से छोटी गलतियां हो जाती है। इनमें सेलेक्शन ऑफ टाइप ऑफ टैक्स या एसेसमेंट ईयर का सेलेक्शन शामिल हैं। यह बहुत सामान्य मसले हैं। खासकर नए टैक्सपेयर्स के साथ इस तरह की दिक्कत आती है, जिन्हें इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की तरफ से इस्तेमाल की जा रही टेक्नोलॉजी की जानकारी नहीं होती है।
(अभिषेक अनेजा सीए हैं। वह इनकम टैक्स और पर्सनल फाइनेंस से जुड़े मामलों के एक्सपर्ट हैं।)