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भारत की जैस्मिन ने जीता वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड, पोलैंड की बॉक्सर को दी मात

Jaismine Lamboria : मुकाबले के बाद जैस्मीन ने अपनी खुशी जाहिर करते हुए कहा, "विश्व चैंपियन बनने का एहसास शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। मैं बेहद खुश हूं।" उन्होंने आगे कहा, "पेरिस 2024 में जल्दी बाहर होने के बाद मैंने अपनी तकनीक पर काम किया और खुद को शारीरिक और मानसिक रूप से मजबूत बनाया। यह जीत पिछले एक साल की लगातार मेहनत का नतीजा है

MoneyControl Newsअपडेटेड Sep 14, 2025 पर 9:06 AM
भारत की जैस्मिन ने जीता वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड, पोलैंड की बॉक्सर को दी मात
बॉक्सर खिलाड़ी जैस्मीन लैम्बोरिया ने 57 किलोग्राम कैटेगरी में गोल्ड मेडल अपने नाम कर लिया है।

लिवरपूल में चल रहे वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप 2025 में भारत की महिला बॉक्सर खिलाड़ी जैस्मिन लेंबोरिया ने 57 किलोग्राम कैटेगरी में गोल्ड मेडल अपने नाम कर लिया है। 24 साल की जैस्मीन ने फाइनल में पेरिस ओलंपिक की रजत पदक विजेता पोलैंड की जूलिया सेरेमेटा को हराया और पहली बार विश्व चैंपियन बनी। मुकाबले की शुरुआत में जैस्मीन ने लय में आकर दमदार शॉट लगाए। उन्होंने मुकाबले में अच्छा बैलेंस बनाया और शानदार प्रदर्शन करते हुए जजों से 4-1 का स्प्लिट डिसीजन अपने नाम किया।

मुकाबले के बाद जैस्मीन ने अपनी खुशी जाहिर करते हुए कहा, "विश्व चैंपियन बनने का एहसास शब्दों में बयां नहीं किया जा सकतामैं बेहद खुश हूं।" उन्होंने आगे कहा, "पेरिस 2024 में जल्दी बाहर होने के बाद मैंने अपनी तकनीक पर काम किया और खुद को शारीरिक और मानसिक रूप से मजबूत बनाया। यह जीत पिछले एक साल की लगातार मेहनत का नतीजा है।"

 जैस्मीन का शानदार रहा है ये सीजन

जैस्मीन लैम्बोरिया का स्वर्ण पदक उनके शानदार सीजन का बेहतरीन अंत है। मार्च में ग्रेटर नोएडा में हुई राष्ट्रीय चैंपियनशिप में उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया और सर्वश्रेष्ठ मुक्केबाज का ख़िताब जीता। इसके बाद उन्होंने कज़ाकिस्तान के अस्ताना में आयोजित बॉक्सिंग विश्व कप में पहला स्थान हासिल किया। सिर्फ दो महीने पहले, जुलाई 2025 में, जैस्मीन ने एक बार फिर कज़ाकिस्तान में आयोजित विश्व बॉक्सिंग कप में स्वर्ण पदक जीतकर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी बढ़ती पहचान को और मजबूत किया।

हालांकि पेरिस 2024 में उनका ओलंपिक डेब्यू उम्मीद के मुताबिक़ नहीं रहा और उन्हें निराशा मिली, लेकिन जैस्मीन ने इसे हार मानने के बजाय प्रेरणा बना लिया। उन्होंने अपनी रणनीति में बदलाव किया, शारीरिक और मानसिक रूप से खुद को और मज़बूत किया। इसी मेहनत और लगन का नतीजा है कि आज उन्होंने विश्व चैंपियन बनने का गौरव हासिल किया।

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