Syrma SGS पीसीबी मैन्युफैक्चरिंग पर लगा रही बड़ा दांव, कई ग्लोबल कंपनियों से बातचीत

Syrma SGS के मैनेजिंड डायरेक्टर जसबीर सिंह गुजराल ने कहा कि ग्लोबल OEM इंडियन कंपनियों के साथ पार्टनरशिप करना चाहते हैं, क्योंकि सप्लाई चेन को लेकर असंतुलन बढ़ रहा है। केंद्र सरकार की ECMS 2.0 इनसेंटिव भी इसकी वजह हो सकती है

अपडेटेड Nov 26, 2025 पर 5:58 PM
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ECMS 2.0 के तहत नई पीसीबी फैसिलिटीज में 7,000-10000 करोड़ रुपये का निवेश होने का अनुमान है।

सिरमा एसजीएस प्रिंटेड सर्किट बोर्ड (पीसीबी) मैन्युफैक्चरिंग पर बड़ा दांव लगाने जा रही है। वह जर्मनी, जापान और ताइवान की उन कंपनियों से बातचीत कर रही है, जिनकी दिलचस्पी चीन से बाहर निवेश करने में हो सकती है। सिरमा एसजीएस के नए प्लांट्स में ग्लोबल फर्मों ने दिलचस्पी दिखाई है। अगर कंपनी का प्लान सफल रहता है तो हाई-वैल्यू कंपोनेंट्स के आयात पर इंडिया की निर्भरता घट सकती है।

इंडियन कंपनियों से पार्टनरशिप में ग्लोबल OEM की दिलचस्पी

Syrma SGS के मैनेजिंग डायरेक्टर जसबीर सिंह गुजराल ने कहा कि ग्लोबल OEM इंडियन कंपनियों के साथ पार्टनरशिप करना चाहते हैं, क्योंकि सप्लाई चेन को लेकर असंतुलन बढ़ रहा है। केंद्र सरकार की ECMS 2.0 इनसेंटिव भी इसकी वजह हो सकती है। इस इनसेंटिव से भारत में कंपोनेंट्स मैन्युफैक्चरिंग को काफी बढ़ावा मिल सकता है।


नई पीसीबी फैसिलिटीज में 10000 करोड़ निवेश का अनुमान 

गुजराल ने कहा कि ECMS 2.0 के तहत नई पीसीबी फैसिलिटीज में 7,000-10000 करोड़ रुपये का निवेश होने का अनुमान है। इससे पहले चरण में भारत के 40,000 करोड़ रुपये के पीसीबी के सालाना आयात में करीब 25-30 फीसदी कमी आ सकती है। उन्होंने कहा, "हम जब कभी संभावित OEM और EMS कस्टमर्स से बात करते हैं और उन्हें अपने पीसीबी प्लान के बारे में बताते हैं तो हमें दिलचस्पी देखने को मिलती है।"

जापान और जर्मनी की कंपनियों से बातचीत

उन्होंने कहा कि उनकी इंडिया के एक बड़े बिजनेस ग्रुप से बातचीत हुई है। हमने भारत में इनपुट्स की मैन्युफैक्चरिंग और रॉ मैटेरियल के स्रोतों के बारे में चर्चा की है। जापान और जर्मनी की ग्लोबल कंपनियों ने दिलचस्पी दिखाई है। अपना EMS बिजनेस होने के बावजूद सिरमा एसजीएस शुरुआत में बाहरी कस्टमर्स को प्राथमिकता देगी। इनमें खासकर ग्लोबल और बड़ी इंडियन कंपनियां शामिल होंगी।

कंपनियां सप्लाई चेन को डायवर्सिफाय करना चाहती हैं

गुजराल ने कहा, "इंडस्ट्री की काफी ज्यादा दिलचस्पी दिखी है। कंपनियां प्रोडक्ट की रेंज और उनके तैयार होने के समय के बारे में पूछ रही हैं। दुनियाभर में कंपनियां अपनी सप्लाई चेन को डायवर्सिफाय करना चाहती हैं। अब तक विकल्प सीमित थे। केंद्र सरकार और राज्य सरकारों की मदद से इंडिया भरोसेमंद विकल्प पेश कर सकता है।" सिरमा एसजीएस का पीसीबी पोर्टफोलियो इंडस्ट्रियल, ऑटोमोटिव, कंज्यूमर, रिन्यूएबल एनर्जी, स्पेस, मेड-टेक, पावर इलेक्ट्रॉनिक्स और सेलेक्टिव टेलीकॉम अप्लिकेशंस की जरूरतें पूरी करेगा।

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सिरमा एसजीएस पीसीबी का इस्तेमाल खुद भी करेगी

सिरमा एसजीएस के एमडी ने कहा, "हम शुरुआत में मोबाइल फोन को टारगेट नहीं करेंगे। एनर्जी मीटर्स में बड़ा मौका दिख रहा है। सरकार का प्लान करीब 5 करोड़ एनर्जी मीटर्स लगाने का है। सोलर इनवर्टर्स और दूसरे मास अप्लिकेशंस के क्षेत्र में भी पीसीबी की बड़ी डिमांड है।" सिरमा का प्लान आखिर में इन पीसीबी का इस्तेमाल खुद के ईएमएस ऑपरेशंस के लिए करने का है।

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