अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच 48 घंटे का युद्धविराम हो गया है। बुधवार को काबुल और कंधार में पाकिस्तानी हवाई हमलों में कम से कम 15 अफगान नागरिक मारे गए और 100 से ज्यादा घायल हुए। यह तब हुआ, जब तालिबान ने जवाबी हमले में स्पिन-बोल्डक में सीमा चौकियों पर कब्जा कर लिया। इसका सबसे बड़ा सबूत उन पाकिस्तानी सैनिकों की पतलून बन गई, जिन्होंने अपनी चौकियां छोड़ दीं।
BBC के अफगान पत्रकार दाउद जुनबिश ने लिखा, "डूरंड लाइन के पास पाकिस्तानी सेना की खाली सैन्य चौकियों से बरामद पतलूनें अफगानिस्तान के पूर्वी नांगरहार प्रांत में खुलेआम टांगी गईं।" उन्होंने तालिबान लड़ाकों की एक तस्वीर शेयर की, जिसमें वे बॉर्डर पोस्ट से जब्त की गईं पतलून और हथियार दिखा रहे हैं, जहां से पाक सैनिक जवाबी हमले के बाद भागे थे।
संघर्ष के खतरनाक तरीके से बढ़ने के कारण अफगान लोग इस्लामिक गणराज्य पाकिस्तान के खिलाफ इस्लामिक अमीरात के लड़ाकों के पीछे एकजुट हो गए।
वहीं पाकिस्तान ने बुधवार को कहा कि अफगानिस्तान के साथ 48 घंटे के संघर्ष विराम पर सहमति बन गई है। यह घोषणा ऐसे समय की गई है, जब दोनों देशों के बीच सीमा पर संघर्ष में दोनों ओर से कई लोग मारे गए हैं।
Dawn अखबार ने विदेश कार्यालय के हवाले से कहा है, "तालिबान के अनुरोध पर दोनों पक्षों की आपसी सहमति से आज शाम छह बजे से अगले 48 घंटों के लिए पाकिस्तान सरकार और अफगान तालिबान शासन के बीच एक अस्थायी संघर्ष विराम का फैसला किया गया है।"
विदेश कार्यालय ने कहा, "इस अवधि के दौरान, दोनों पक्ष रचनात्मक बातचीत के माध्यम से इस जटिल लेकिन सुलझने योग्य मुद्दे का सकारात्मक समाधान खोजने के लिए गंभीर प्रयास करेंगे।"
अफगानिस्तान सरकार की ओर से फिलहाल कोई टिप्पणी नहीं आई है।
इससे पहले, पाकिस्तानी सेना ने कहा था कि उसने अफगान तालिबान के कई हमलों को नाकाम कर दिया और दोनों देशों के बीच सीमा पर हुई झड़पों की अलग-अलग घटनाओं में 40 से अधिक हमलावरों को मार गिराया। सेना ने कहा, "हमले को विफल करते समय 15-20 अफगान तालिबान मारे गए और कई घायल हो गए।"