White House Shooting: व्हाइट हाउस से कुछ ही दूरी पर दो नेशनल गार्ड्स को गोली मारने के आरोपी व्यक्ति की पहचान रहमानुल्लाह लकनवाल के रूप में हुई है। वह 29 वर्षीय अफगान नागरिक है जो कथित तौर पर 2021 में अमेरिका आया था। अधिकारियों ने पुष्टि की है कि लकनवाल ने इस साल की शुरुआत में ही असाइलम हासिल कर लिया था। हमला बुधवार दोपहर को हुआ, जब नेशनल गार्ड्स Farragut मेट्रो स्टेशन के पास गश्त कर रहे थे।
जांचकर्ताओं ने घटनास्थल से उस पिस्तौल बरामद कर ली है जिसका इस्तेमाल हमले में किया गया। अधिकारी अब हथियार और अन्य साक्ष्यों की जांच कर रहे हैं। हमले का मकसद अभी तक पता नहीं है, और अधिकारी ने कहा है कि जांच जारी है।
मोड़ पर मुड़ने के बाद दनादन झोंक दिया फायर
मेट्रोपॉलिटन पुलिस विभाग के कार्यकारी सहायक प्रमुख जेफरी कैरोल ने बताया कि, 'यह एक अकेला बंदूकधारी लग रहा है जिसने पिस्तौल उठाई और नेशनल गार्ड्स पर घात लगाकर हमला किया। हमलावर ने कोना मोड़ने के बाद सीधे दो गार्ड्स पर गोली चला दी। वहां मौजूद अन्य गार्ड्स ने तुरंत जवाब दिया, और संदिग्ध को गोली मारकर हिरासत में ले लिया गया। उन्होंने कहा यह हमला सुनियोजित प्रतीत होता है। दोनों नेशनल गार्ड्स गंभीर स्थिति में अस्पताल में भर्ती हैं, जबकि अधिकारियों का कहना है कि संदिग्ध की चोटें जानलेवा नहीं हैं।
राष्ट्रपति ट्रंप की तीखी प्रतिक्रिया
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस गोलीबारी की कड़ी निंदा की और इसे नेशनल गार्ड योद्धाओं पर भयानक हमला बताया। व्हाइट हाउस ब्रीफिंग रूम से बोलते हुए, ट्रंप ने गोलीबारी को 'बुराई, नफरत और आतंक का कृत्य' बताया। उन्होंने कहा कि ऐसी हिंसा न केवल दो गार्ड सदस्यों के खिलाफ, बल्कि हमारे पूरे राष्ट्र के खिलाफ और मानवता के खिलाफ अपराध है।
ट्रंप ने संदिग्ध की पृष्ठभूमि पर कड़ी आलोचना की। उन्होंने कहा कि गृह सुरक्षा विभाग बताया है कि गिरफ्तार व्यक्ति अफगानिस्तान से आया था। बाद में ट्रंप ने अफगानिस्तान को 'नरक का अड्डा' (hellhole) बताया।