Rahu Transit 2026: ज्योतिष शास्त्र में राहु ग्रह के गोचर को बहुत महत्व दिया जाता है, क्योंकि ये क्रूर ग्रहों में से एक है। यह एक छाया और मायावी ग्रह है, जो एक राशि में करीब 18 महीनों तक रहता है। इसके बाद ये अपने से पीछे वाली राशि में यानी उल्टा चलता है। राहु की क्रूर दृष्टि जातक को कई तरह की परेशानियां देती है। यह ग्रह राशि परिवर्तन के साथ एक निश्चित अंतराल पर नक्षत्र परिवर्तन भी करता है। इसकी चाल में बदलाव होने का असर देश-दुनिया के साथ-साथ सभी 12 राशियों के जातकों पर भी देखने को मिलता है। हाल ही में 23 नवंबर को राहु का नक्षत्र परिवर्तन हुआ है। यह मायावी ग्रह शतभिषा नक्षत्र में गोचर कर चुका है और 02 अगस्त 2026 तक इसी नक्षत्र में रहेगा। शतभिषा नक्षत्र में राहु का स्वनक्षत्र है। राहु को मायावी ग्रह माना जाता है, इसलिए इसके गोचर से कुछ राशि के जातकों को अचानक लाभ मिल सकता है। आइए जानें कौन सी हैं ये राशियां
