Services PMI for June : 3 जुलाई को जारी प्राइवेट सेक्टर के एक सर्वे के निष्कर्षों के मुताबिक भारत के सर्विस सेक्टर की गतिविधि जून में सुधरी है। ये पिछले महीने के 58.8 से बढ़कर 10 महीने के उच्चतम स्तर 60.4 पर पहुंच गई है। इस वर्ष जून महीने में पहली बार एचएसबीसी इंडिया सर्विसेज परचेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स (HSBC India Services Purchasing Managers' Index) 60 को पार कर गया है।
बताते चलें कि 50 का स्तर सर्विस सेक्टर की गतिविधि में विस्तार और संकुचन के विभाजक रेखा का काम करता है। यानी सर्विसेज PMI की 50 से ऊपर की रीडिंग सर्विस सेक्टर की गतिविधि में विस्तार का संकेत देती है। जबकि 50 से नीचे की रीडिंग सर्विस सेक्टर की गतिविधि में संकुचन का संकेत होती है।
जून में देश के सर्विस सेक्टर का प्रदर्शन मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर की गतिविधियों के अनुरूप ही रहा है। देश में जून में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर की गतिविधि 14 महीने के उच्चतम स्तर 58.4 पर पहुंच गई है। इसके चलते जून में भारत की कंपोजिट PMI 59.3 से बढ़कर 61 के स्तर पर पहुंच गई है। बता दें कि कंपोजिट पीएमआई, मैन्युफैक्चरिंग पीएमआई और सर्विसेज पीएमआई का योग होती है।
ताजे आंकड़ों से पता चलता है कि जून महीने भारत की अर्थव्यवस्था ने मिलाजुला प्रदर्शन किया है। जीएसटी ग्रोथ चार साल के निचले स्तर पर आ गई है और औद्योगिक उत्पादन में भी मंदी के संकेत दिख रहे हैं।
मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ने भी दिखाई मजबूती
देश के मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ने भी जून में मजबूती दिखाई है। 1 जुलाई को आए आंकड़ों के मुताबिक ग्लोबल ट्रेड में लगातार आ रही बाधाओं के बावजूद फैक्टरी एक्टिविटी 14 महीने के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई। एचएसबीसी इंडिया मैन्युफैक्चरिंग परचेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स (HSBC India Manufacturing Purchasing Managers' Index (PMI) मई में 57.6 से बढ़कर 58.4 हो गया। ये इस साल इसके मजबूत प्रदर्शन का तीसरा महीना रहा है। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर के तिमाही आंकड़े भी अच्छे रहे हैं। जून तिमाही की एवरेज पीएमआई रीडिंग बढ़कर 58.1 हो गई है जबकि जनवरी-मार्च अवधि में यह 57.4 के स्तर पर रही थी। इससे कारखाना उत्पादन और घरेलू मांग में मजूती बने रहने के संकेत मिल रहे हैं।