Semicon India 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज यानी 2 सितंबर, 2025 को नई दिल्ली के यशोभूमि में 'सेमीकॉन इंडिया - 2025' का उद्घाटन किया। इसका आयोजन 2 से 4 सितंबर तक होगा। यह तीन दिवसीय सम्मेलन भारत में एक मजबूत, लचीले और टिकाऊ सेमीकंडक्टर पारिस्थितिकी तंत्र विकसित करने पर केंद्रित है। यह भारत का सबसे बड़ा सेमीकंडक्टर और इलेक्ट्रॉनिक्स शो है। इसमें 33 देशों की 350 से ज्यादा कंपनियां हिस्सा ले रही हैं। इस आयोजन का उद्देश्य भारत को सेमीकंडक्टर और टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में एक वैश्विक शक्ति बनाना है। जानकारी के मुताबिक, इस कार्यक्रम के जरिए सरकार देश में इलेक्ट्रॉनिक्स निर्माण को बढ़ावा देना चाहती है।
पीएम मोदी ने कार्यक्रम को किया संबोधित
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि दुनिया भारत पर भरोसा करती है। दुनिया भारत पर विश्वास करती है। दुनिया भारत के साथ सेमीकंडक्टर का भविष्य बनाने के लिए तैयार है। कुछ ही दिन पहले, इस साल की पहली तिमाही के जीडीपी आंकड़े आए हैं। एक बार फिर, भारत ने हर उम्मीद और हर आंकलन से बेहतर प्रदर्शन किया है। ऐसे समय में जब दुनिया की अर्थव्यवस्था में चिंताएं हैं, आर्थिक स्वार्थ से पैदा चुनौतियां हैं, ऐसे माहौल में भारत ने 7.8 प्रतिशत की वृद्धि हासिल की है।
पीएम मोदी ने कहा कि हर तरफ उत्साह नजर आ रहा है। भारत तकनीक को लेकर मुझमे पैशन है। उन्होंने कहा कि भारत जिस तेजी से विकास कर रहा है, उससे लगता है बहुत जल्द तीसरी अर्थव्यवस्था वाला देश बन जाएगा।
उन्होंने कहा कि वर्ष 2021 में हमने सेमीकॉन इंडिया कार्यक्रम शुरू किया। वर्ष 2023 तक भारत का पहला सेमीकंडक्टर प्लांट स्वीकृत किया गया। 2024 में हमने अतिरिक्त प्लांट्स को मंजूरी दी। 2025 में हमने पांच अतिरिक्त परियोजनाओं को मंजूरी दी। कुल मिलाकर, 10 सेमीकंडक्टर परियोजनाओं में 1.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक का निवेश हो रहा है। यह भारत में दुनिया के बढ़ते विश्वास को दर्शाता है। हमने राष्ट्रीय एकल खिड़की प्रणाली लागू की है। इसके माध्यम से, केंद्र और राज्यों से सभी स्वीकृतियां एक ही मंच पर प्राप्त हो रही हैं। परिणामस्वरूप, हमारे निवेशकों को अब कागजी कार्रवाई से काफी मुक्ति मिल गई है।
भारत की सबसे छोटी चिप दुनिया में बदलाव लाएगी- पीएम मोदी
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि वह दिन दूर नहीं जब भारत की सबसे छोटी चिप दुनिया में सबसे बड़ा बदलाव लाएगी। उन्होंने कहा कि भले ही हमारी यात्रा देर से शुरू हुई हो, लेकिन अब हमें कोई रोक नहीं सकता। जिस तरह पिछली शताब्दी तेल पर आधारित थी और दुनिया का भविष्य तेल के कुओं से तय होता था, उसी तरह 21वीं सदी की असली ताकत एक छोटी-सी चिप में सिमटी है। यह चिप आकार में छोटी जरूर है, लेकिन इसमें दुनिया की प्रगति को तेज गति देने की अपार क्षमता है।
प्रधानमंत्री ने बताया कि सेमीकंडक्टर का वैश्विक बाजार आज 600 अरब डॉलर तक पहुंच चुका है और आने वाले वर्षों में यह 1 ट्रिलियन डॉलर का आंकड़ा पार कर जाएगा। उन्होंने विश्वास जताया कि जिस रफ्तार से भारत इस क्षेत्र में प्रगति कर रहा है, उसमें इस 1 ट्रिलियन डॉलर के बाजार में भारत की महत्वपूर्ण हिस्सेदारी होगी।
कुछ सालों में 1 ट्रिलियन डॉलर को कर जाएगा पार
पीएम ने आगे कहा, हमारी पिछली शताब्दी तेल से प्रभावित थी। दुनिया का भाग्य तेल के कुओं से तय होता था। लेकिन 21वीं सदी की ताकत एक छोटी सी चिप में सिमटी है। यह चिप भले ही छोटी हो लेकिन इसमें दुनिया की प्रगति को एक बड़ी गति देने की ताकत है। इसीलिए आज सेमीकंडक्टर का वैश्विक बाजार 600 अरब डॉलर तक पहुंच रहा है और अगले कुछ वर्षों में यह 1 ट्रिलियन डॉलर को भी पार कर जाएगा। मुझे विश्वास है कि जिस गति से भारत सेमीकंडक्टर क्षेत्र में प्रगति कर रहा है, इस 1 ट्रिलियन डॉलर के बाजार में भारत की महत्वपूर्ण हिस्सेदारी होने वाली है। सेमीकॉन इंडिया के इस आयोजन में आए आप सभी लोगों का मैं स्वागत करता हूं।
अश्विनी वैष्ण ने प्रधानमंत्री को 4 चिप भेंट किए
सेमीकॉन इंडिया 2025 में केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को विक्रम 32-बिट प्रोसेसर और चार स्वीकृत परियोजनाओं के परीक्षण चिप्स भेंट किए। विक्रम 32-बिट प्रोसेसर पूरी तरह मेक-इन-इंडिया पहल के तहत विकसित पहला माइक्रोप्रोसेसर है, जो प्रक्षेपण यानों की कठिन और चुनौतीपूर्ण पर्यावरणीय परिस्थितियों में उपयोग के लिए उपयुक्त है। इस अत्याधुनिक चिप का विकास इसरो सेमीकंडक्टर लैब द्वारा किया गया है।