मानसून का मौसम अपने साथ कई चुनौतियां लेकर आता है, खासकर घर के राशन की सुरक्षा को लेकर। इस मौसम में आटे में नमी की समस्या सबसे ज्यादा देखने को मिलती है, जिससे उसमें सीलन लग जाती है और घुन भी उग आते हैं। ये घुन आटे को पूरी तरह खराब कर देते हैं और उसे खाने योग्य नहीं छोड़ते। खराब आटा खाने से पेट संबंधी बीमारियां, एलर्जी और अन्य स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं। इसलिए मानसून में आटे को सही तरीके से सुरक्षित रखना बेहद जरूरी हो जाता है। सही स्टोरेज न सिर्फ आटे की गुणवत्ता बनाए रखता है, बल्कि कीड़ों और फफूंद से भी बचाव करता है।
इसके लिए कुछ घरेलू और प्राकृतिक उपाय अपनाए जा सकते हैं, जो आटे को नमी और कीटों से बचाकर ताजा रखने में मददगार साबित होते हैं। इस तरह आप मानसून के दौरान भी अपने घर का आटा सुरक्षित रख सकते हैं।
आटे में कीड़े और घुन लगने से बचाने के लिए तेजपत्ता बहुत फायदेमंद होता है। तेजपत्ते की खुशबू कीड़े दूर भगाती है। आटे के डिब्बे में 4-5 सूखे तेजपत्ते रख सकते हैं और हर महीने इन्हें बदलते रहें। इसी तरह, कुछ साबुत लौंग को कपड़े की पोटली में बांधकर आटे के कंटेनर में डालने से भी कीड़ों से बचाव होता है।
नीम के पत्ते और हींग की महक
नीम के सूखे पत्तों में कीड़ों और फंगस से लड़ने वाले गुण होते हैं। इन्हें आटे में डालने से आटा लंबे समय तक ताजा रहता है। हींग की तेज महक भी कीड़ों को दूर रखती है। हींग को कपड़े की छोटी पोटली में डालकर कंटेनर में रखें, पर मात्रा कम होनी चाहिए ताकि आटे की खुशबू प्रभावित न हो।
नमक से नमी और कीड़ों से बचाव
नमक एक प्राकृतिक कीटनाशक की तरह काम करता है। ये नमी को सोख लेता है और आटे में कीड़े-घुन को पनपने नहीं देता। आटे के डिब्बे में थोड़ा नमक डालने से आटा सूखा रहता है और कीड़े दूर रहते हैं। इससे आप मानसून में भी आटे को खराब होने से बचा सकते हैं।
सही तरीके से आटा स्टोर करना भी जरूरी
सभी उपायों के साथ-साथ आटा हमेशा साफ और सूखे कंटेनर में ही रखें। कंटेनर का ढक्कन अच्छी तरह बंद रखें ताकि नमी और कीड़े बाहर न आ सकें। इसके अलावा, कंटेनर को छाया और ठंडी जगह पर रखना बेहतर होता है ताकि आटा ज्यादा समय तक सुरक्षित रहे।