नेशनल इनवेस्टमेंट एंड इंफ्रास्ट्रक्चर फंड (NIIF) इलेक्ट्रिक टूव्हीलर मेकर एथर एनर्जी में अतिरिक्त हिस्सेदारी खरीद रहा है। इसके लिए भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) ने NIIF के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। यह मंजूरी ग्रीन चैनल रूट के तहत दी गई है। इस रूट के तहत ऐसा लेन-देन जिससे कॉम्पिटीशन पर कोई बड़ा प्रतिकूल असर पड़ने का जोखिम पैदा नहीं होता है, CCI को सूचित किए जाने पर अप्रूव माना जाता है।
CCI ने एक आदेश में कहा, "खरीदार (भारत-जापान फंड) ने एथर के कुछ सीरीज G कंपल्सरिली कनवर्टिबल प्रिफरेंस शेयरों को हासिल करने का प्रस्ताव रखा है।" भारत-जापान फंड (IJF), NIIF द्वारा मैनेज्ड फंड है। यह फंड पर्यावरणीय स्थिरता और कम कार्बन उत्सर्जन रणनीतियों में निवेश करने और भारत में जापानी कंपनियों की ओर से निवेश को बढ़ावा देने पर फोकस करता है।
भारत-जापान फंड एक सेबी-रजिस्टर्ड वैकल्पिक निवेश फंड है। यह लेनदेन IJF को इलेक्ट्रिक टूव्हीलर्स, क्लीन मोबिलिटी ट्रांसपोर्ट सॉल्यूशंस और टेक्नोलॉजी-बेस्ड लास्ट-माइल ट्रांसपोर्ट व्हीकल्स के लिए ब्रॉडर मार्केट के लिए वैल्यू क्रिएट कर अपने लक्ष्यों को आगे बढ़ाने में मदद करेगा।
यूनिकॉर्न बन चुकी है एथर एनर्जी
पिछले महीने एथर एनर्जी अपने मौजूदा निवेशक NIIF से 600 करोड़ रुपये (7.1 करोड़ डॉलर) की फंडिंग क्लोज करने के बाद यूनिकॉर्न बन गई। फंडिंग के बाद एथर इस साल देश की चौथी यूनिकॉर्न और मोबिलिटी स्पेस में दूसरी यूनिकॉर्न बन गई है। NIIF ने पहली बार मई 2022 में इलेक्ट्रिक स्कूटर निर्माता एथर में निवेश किया था।
FY24 में घाटा 22 प्रतिशत बढ़ा
एथर एनर्जी का वित्त वर्ष 2024 में घाटा 22 प्रतिशत से अधिक बढ़ाकर 1,059 करोड़ रुपये हो गया। घाटा एक साल पहले 864 करोड़ रुपये था। इसी अवधि में इसका रेवेन्यू 1,789 करोड़ रुपये रहा, जो एक साल पहले 1,783 करोड़ रुपये था। जून में एथर एनर्जी ने जल्द ही लिस्ट होने की अपनी योजना के तहत खुद को एक पब्लिक लिमिटेड कंपनी में बदल लिया।