बाजार नियामक सेबी (SEBI) ने ड्राफ्ट प्रॉस्पेक्टस के हिसाब से आईपीओ के जरिए जुटाए गए पैसों का इस्तेमाल नहीं करने पर मिडवैली एंटरटेनमेंट लिमिटेड (MVEL) के ऊपर 98 लाख रुपये से अधिक का जुर्माना लगाया है। इसे लेकर आठ कंपनियों को नोटिस भेजा गया है। यह मामला मिडवैली एंटरटेनमेंट के आईपीओ में जुटाए गए पैसों के गलत इस्तेमाल को लेकर है। आईपीओ लाने के लिए कंपनियां सेबी के पास ड्राफ्ट प्रॉस्पेक्टस दाखिल करती हैं और इसमें इश्यू जारी करने का कारण बताती हैं। इश्यू अगर नए शेयरों का है तो इसके जरिए जुटाए गए पैसों का इस्तेमाल कैसे होगा, इसका पूरा उल्लेख ड्राफ्ट में होता है।
15 दिनों के भीतर चुकाना है जुर्माना
सेबी ने मिडवैली एंटरटेनमेंट और इसके निदेशकों को जुर्माना भरने का आदेश दिया था लेकिन वे इसे नहीं चुका सके तो नोटिस भेजा गया है। सेबी ने निर्देश दिया है कि 98.88 लाख रुपये 15 दिनों के भीतर जमा करने हैं। इसमें ब्याज और रिकवरी कॉस्ट भी शामिल है। अगर इसे नहीं चुकाया जाता है तो इनकी चल और अचल संपत्तियों की बिक्री कर इसे हासिल किया जाएगा। उनके बैंक खाते भी अटैच किए जाएंगे और इसके निदेशकों की गिरफ्तारी भी हो सकती है। सेबी ने यह अटैचमेंट नोटिस शुक्रवार को जारी किया था। इससे पहले 31 मई को सेबी ने मिडवैली एंटरटेनमेंट समेत 32 कंपनियों और मिडवैली एंटरटेनमेंट के निदेशकों पर 2.3 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था।
मिडवैली एंटरटेनमेंट का आईपीओ जनवरी 2011 में आया था। सेबी ने इस आईपीओ को लेकर जांच किया और पाया कि आईपीओ के जरिए जो पैसा जुटाया गया था, उसका ड्राफ्ट प्रॉस्पेक्टस के हिसाब से इस्तेमाल नहीं किया गया। ड्राफ्ट प्रॉस्पेक्टस के मुताबिक 60 करोड़ रुपये के इस आईपीओ के जरिए जुटाए गए पैसों का इस्तेमाल सिनेमा थिएटर्स के साथ स्क्रीनिंग समझौता करना, सिनेमा इंफ्रास्ट्रक्चर का रिनोवेशन और अपग्रेडेशन, कंपनी के अधिग्रहण और स्क्रीनिंग राइट्स के अधिग्रहण और आम कॉरपोरेट उद्देश्यों में करना था।
हालांकि सेबी की जांच के मुताबिक इन कामों में आईपीओ के पैसों का पूरा इस्तेमाल नहीं हुआ। कंपनी के अलावा निदेशकों ने भी अपनी भूमिका सही नहीं निभाई जिसके चलते आईपीओ के पैसों के गलत इस्तेमाल को रोका नहीं जा सका जो पीएफयूटीपी (प्रॉहिबिशन ऑफ फ्रॉडलेंट एंड अनफेयर ट्रेड प्रैक्टिसेज) नॉर्म्स का उल्लंघन है।