सरकार ने आज पार्लियामेंट में बताया कि पिछले 6 साल में स्टार्टअप ने भारत में 7.68 लाख लोगों को नौकरियां दी हैं। इस अवधि में 72993 स्टार्टअप रजिस्टर्ड हुए हैं। कॉर्मस और इंडस्ट्री मिनिस्ट्री ने जनवरी 2016 से 30 जून 2022 तक के आंकड़े जारी किए हैं। बता दें कि जनवरी 2016 में ही स्टार्टअप इंडिया प्रोग्राम की लॉन्चिंग हुई थी। इस अवधि में महाराष्ट्र 1.46 लाख जॉब के आंकड़ों के साथ लीडर बनकर उभरा है।
बंगलूरु जैसा टेक हब वाला कर्नाटक 1.03 लाख जॉब के आंकड़ों के साथ दूसरे नंबर पर रहा है जबकि इसी अवधि में दिल्ली में 87643 जॉब मिले हैं जबकि उत्तरप्रदेश में 67,694 जॉब मिले हैं।
पिछले 6 साल में स्टार्टअप के रजिस्ट्रेशन के आंकड़ों पर डालें तो यहां पर महाराष्ट्रा पहले नंबर पर रहा है। इस अवधि में महाराष्ट्र में 13519 स्टार्टअप रजिस्टर्ड हुए है जबकि 8881 रजिस्ट्रेशन के साथ कर्नाटक दूसरे नंबर पर , 8,636 रजिस्ट्रेशन के साथ दिल्ली तीसरे नंबर पर और 6,654 रजिस्ट्रेशन के साथ उत्तरप्रदेश चौथे नंबर पर है।
मानसून सत्र के तीसरे दिन लोकसभा में अपना लिखित जवाब देते हुए मिनिस्टर ऑफ स्टेट फॉर कॉर्मस सोम प्रकाश ने कहा कि 2016 से अब तक ईज ऑफ डूइंग बिजनेस, ईज ऑफ रेजिंग कैपिटल और स्टार्टअप के लिए दूसरे रेगुलेटरी प्रावधानों को आसान करने के उद्देश्य से 52 रेगुलेटरी रिफॉर्म किए गए हैं। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि देश में स्टार्टअप द्वारा जुटाए गए पैसे के बारे में कोई केंद्रीयकृत सूचनातंत्र उपलब्ध नहीं है ।
बताते चलें कि इसी साल जारी हुए इकोनॉमिक सर्वे 2022 में बताया गया है कि दिल्ली ने देश के स्टार्टअप कैपिटल के दर्जा बंगलूरु से ले लिया है। पिछले 2 साल में जोरदार रजिस्ट्रेशन के दम पर दिल्ली देश के स्टार्टअप कैपिटल के रूप में उभरा है।